मध्यप्रदेश की संस्कारधानी जबलपुर में नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के समर्थन में रविवार को आयोजित एक सभा में केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने साफ तौर पर कांग्रेस से कह दिया कि वह चाहे जो कर ले, केंद्र सरकार शरणार्थियों को नागरिकता देकर ही दम लेगी. गैरीसन मैदान में आयोजित सभा में गृहमंत्री शाह ने कहा, "देश की आजादी के समय बड़ी संख्या में लोग पाकिस्तान में रह गए थे, उन पर अत्याचार हो रहे हैं, उनकी संख्या लगातार कम हो रही है. यह कानून किसी की नागरिकता छीनने के लिए नहीं है, यह तो नागरिकता देने का कानून है. कांग्रेस और अन्य दल देश में भ्रम फैला रहे हैं. दंगे भड़काने का काम कर रहे हैं. कांग्रेस जितना भी विरोध कर ले, पाकिस्तान से आए लोगों को हम नागरिकता देंगे."
भाजपा अध्यक्ष शाह ने महात्मा गांधी की बात का जिक्र करते हुए कहा, "महात्मा गांधी ने भी कहा था कि पाकिस्तान में बसे अल्पसंख्यक अगर भारत आना चाहें तो वे आ सकते हैं. भारत उनका ध्यान रखेगा. सभी नेताओं ने यह बात कही है, लेकिन राहुल गांधी यह मानने को तैयार नहीं हैं." सभा में मौजूद लोगों से शाह ने कहा, "राहुल गांधी, ममता बनर्जी, अरविंद केजरीवाल लगातार सीएए का विरोध कर रहे हैं. ऐसे लोग जो राष्ट्रवादी एजेंडे का विरोध कर रहे हैं, उन्हें सबक सिखाया जाना चाहिए."
उन्होंने कहा, "कांग्रेस वालो, चाहे जितना विरोध कर लो, लेकिन हम इन शरणार्थी भाइयों को नागरिकता देकर ही दम लेंगे. देश पर जितना अधिकार हमारा है, उतना ही इन शरणार्थी भाइयों का भी है, हम इन्हें गले लगाकर आगे बढ़ेंगे." उन्होंने कांग्रेस को आड़े हाथों लेते हुए जनता से आह्वान किया कि कांग्रेस सहित अन्य विपक्षी दलों पर देश में भ्रम फैलाने का आरोप लगाया और आमजन से राष्ट्रवादी एजेंडे का विरोध करने वालों को सबक सिखाने की अपील की है.
शाह ने पाकिस्तान में हो रहे अत्याचारों का हवाला देते हुए कहा कि पाकिस्तान में हिंदू, सिख, सिंधी भाइयों पर अमानवीय अत्याचार हुए, लेकिन मानवाधिकारों की दुहाई देने वाले ठेकेदारों को इन शरणार्थी भाइयों पर हुए अत्याचार नहीं दिखते? क्या इनके मानवाधिकार नहीं हैं? अभी हाल ही में पवित्र धार्मिक स्थल ननकाना साहिब पर हमला हुआ, तोड़फोड़ की गई. वहां के ग्रंथी की बेटी जगजीत कौर को हमलावर उठाकर ले गए. क्या ये अत्याचार नहीं है? देश की जनता इन पीड़ित और प्रताड़ित भाइयों को शरण देना चाहती है. मैं कांग्रेस वालों से कहना चाहता हूं कि जनता की इच्छा की समझिए, वर्ना साफ हो जाओगे.
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शाह ने स्पष्ट किया कि विपक्षी दलों द्वारा फैलाए जा रहे भ्रम को खत्म करने के लिए भाजपा को जनजागरण अभियान चलाना पड़ रहा है. उन्होंने कार्यकर्ताओं से कहा कि वे घर-घर जाकर धारा 370 को खत्म करने के निर्णय, राममंदिर और सीएए के बारे में लोगों को बताएं, ताकि विपक्षी दल जो भ्रम फैला रहे हैं, वह खत्म हो. दिल्ली के जेएनयू में चल रहे आंदोलन का जिक्र करते हुए शाह ने लोगों से पूछा, "जेएनयू में कुछ लड़कों ने भारत विरोधी नारे लगाए, उन्हें जेल में डालना चाहिए कि नहीं?"
वहीं उन्होंने सेना की कार्रवाई पर कांग्रेस और अन्य दलों द्वारा उठाए जाने वाले सवालों पर कहा, "जब एयर स्ट्राइक या सर्जिकल स्ट्राइक होती है तो राहुल गांधी कहते हैं सबूत लाओ, ममता बनर्जी और अरविंद केजरीवाल भी यही बात कहते हैं. इन सबकी भाषा पाकिस्तान की भाषा से मिलने लगी है." इस मौके पर भाजपा प्रदेशाध्यक्ष राकेश सिंह, पूर्व मुख्यंमत्री शिवराज सिंह चौहान, नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव आदि भी उपस्थित रहे.