रांची, 2 फरवरी: झारखंड (Jharkhand) के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन (CM Hemant Soren) ने केंद्रीय बजट को निराश करने वाला बताया है. उन्होंने कहा है कि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट (Budget 2022) के जरिए सिर्फ केंद्र सरकार के मन की बात (Man ki baat) कही है और इसमें देश के जनमानस की भावनाओं का कोई ख्याल नहीं रखा गया है. Budget 2022: राहुल गांधी पर भड़की वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण, कहा- उन्हें कमेंट करने से पहले कांग्रेस शासित राज्यों में भी कुछ करना चाहिए
रांची के बिरसा मुंडा एयरपोर्ट पर पत्रकारों से बात करते हुए मुख्यमंत्री सोरेन ने कहा कि केंद्र सरकार द्वारा राज्यों को ज्यादा सहायता राशि देने की घोषणा की सच्चाई यह है कि इससे राज्यों को कर्ज के बोझ तले दबाने की तैयारी है. केंद्र सरकार संघीय ढांचा को भी तोड़ने पर आमादा है. उन्होंने आरोप लगाया किएलआईसी से लेकर एयरपोर्ट तक को बेचकर भाजपा आज पांच हजार करोड़ रुपये की कंपनी बन गयी है.
इधर झारखंड सरकार के वित्त एवं खाद्य आपूर्ति मंत्री रामेश्वर उरांव ने केंद्रीय बजट को चुनावी घोषणाओं का पुलिंदा करार दिया है. उन्होंने कहा कि आम आदमी और किसान फिर निराश हुए हैं. बजट काल्पनिक साहित्य जैसा है. पहले दो करोड़ नौकरियों की बात थी, अब 60 लाख की बात की गयी है. हकीकत है कि केंद्र सरकार की गलत नीतियों के कारण 2020 में 6.4 करोड़ लोग अत्यंत गरीबी में ढकेल दिये गये.
रामेश्वर उरांव ने कहा कि बहुत शोर था कि कोरोना के बाद ऐसा बजट होगा जिससे देश का काया कल्प हो जाएगा, पर अब आम लोग और गरीब होंगे. महंगाई से त्रस्त जनता को राहत कैसे मिले, किसानों की आय दोगुनी कैसे होगी, सरकार ने कोई दिलचस्पी इसमें नहीं दिखाई है. सच्चाई यह है कि सालाना प्रति व्यक्ति वास्तविक आय में गिरावट आयी है.
झारखंड प्रदेश कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष एवं झारखंड सरकार के पूर्व मंत्री बंधु तिर्की ने कहा कि यह बिजट किसी के हित में नहीं है. मिडिल क्लास की उम्मीदों को रौंद दिया गया है. किसानों, गरीबों, व्यवसायियों की भावनाओं की घोर उपेक्षा हुई है.