Ashok Gehlot Raised Questions on Judiciary: राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने बुधवार को कहा कि न्यायपालिका में भ्रष्टाचार बढ़ रहा है, जो बहुत चिंता की बात है. गहलोत ने यहां मीडियाकर्मियों से कहा, "आज न्यायपालिका में बहुत भ्रष्टाचार हो रहा है। कई वकील जो लिखकर देते हैं, वही फैसला आता है. न्यायपालिका के अंदर क्या हो रहा है? स्थिति गंभीर है और देशवासियों को इस बारे में सोचना चाहिए. यह भी पढ़े: Ashok Gehlot Defamation Case: सीएम गहलोत के खिलाफ मानहानि का मामला, दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट में हुए पेश
उन्होंने कहा, "मैंने कई नामों की सिफारिश भी की है, जो जज बन गए, लेकिन मैंने बाद में उनसे संपर्क नहीं किया। मैंने न्यायपालिका, आरपीएससी (राजस्थान लोक सेवा आयोग), या एसीबी (एंटी करप्शन ब्यूरो) में कभी हस्तक्षेप नहीं किया. मैंने अपने जीवन में इन संस्थानों के मामलों में कभी भी हस्तक्षेप नहीं किया है. मुख्यमंत्री ने भाजपा विधायक कैलाश मेघवाल द्वारा केंद्रीय कानून मंत्री अर्जुन राम मेघवाल पर लगाए गए भ्रष्टाचार के आरोपों को भी सच बताया.
हाल ही में राजस्थान विधानसभा के पूर्व अध्यक्ष कैलाश मेघवाल ने अपनी ही पार्टी के नेता और केंद्रीय कानून मंत्री अर्जुन राम मेघवाल को 'भ्रष्टाचारी नंबर 1' कहा था. गहलोत ने कहा, "मुझे पता चला है कि उनके (अर्जुन राम मेघवाल के) समय में बहुत भ्रष्टाचार हुआ था. लेकिन मामले को दबा दिया गया। इन लोगों ने हाईकोर्ट से स्टे ले लिया है.
उन्होंने कहा, "आरएसएस अपने चरित्र और चेहरे के बारे में बात करता था। लोग सोचते थे कि आरएसएस एक अलग तरह का संगठन है,, लेकिन आज उसका चरित्र और चेहरा सबके सामने है" गहलोत ने यह भी कहा कि राज्य की कांग्रेस सरकार ने हिंदुओं के लिए जो किया है, वह कोई नहीं कर सकता.
उन्होंने कहा, "हम गायों के लिए 3,000 करोड़ रुपये खर्च कर रहे हैं। गांठ वाली बीमारी से मरने वाली गाय के लिए 40,000 रुपये दिए जा रहे हैं। देश में ऐसी पहल किसने की है? हम कामधेनु योजना भी ला रहे हैं.हम मंदिर बना रहे हैं। 100 करोड़ रुपये की लागत से गोविंद देव जी का मंदिर बनाया जा रहा है.
गहलोत ने कहा, "हम एक वैदिक विद्यालय भी बना रहे हैं। हमने राज्य में पहला संस्कृत विश्वविद्यालय बनाया है. भाजपा हिंदुत्व की बात करती है, लेकिन अब उसकी पोल खुल रही है. जनता में कुछ लोग भले ही कम पढ़े-लिखे हों, लेकिन उनकी समझ बेहतरीन है। (अटल बिहारी) वाजपेयी सरकार को 'इंडिया शाइनिंग' के नारेे के बीच जाना पड़ा, उसका क्या हश्र हुआ, देश और दुनिया ने देखा.