
Adipurush Controversy: फिल्म आदिपुरुष रिलीज होते ही विवादों में घिर गई है. आरोप है कि फिल्म में मर्यादा पुरुषोत्तम राम अमर्यादित डायलॉग का इस्तेमाल किया गया है. दिल्ली हाईकोर्ट में फिल्म के कुछ हिस्सों को हटाने की मांग वाली याचिका दाखिल की गई है. इन सबके बीच छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने राज्य में फिल्म को बैन करने के संकेत दिए हैं. साथ ही उन्होंने कहा कि आदिपुरुष में बजरंग बली से बजंरग दल की भाषा बुलवाई गई है.
सीएम भूपेश बघेल ने कहा कि फिल्म "आदिपुरुष" में भगवान राम और हनुमान जी की छवि को धूमिल करने की कोशिश की गई है. उन्होंने कहा कि अगर लोग मांग करते हैं तो कांग्रेस सरकार राज्य में इसे बैन करने पर विचार भी कर सकती है. उन्होंने कहा कि फिल्म के डायलॉग आपत्तिजनक और अशोभनीय हैं.
बघेल ने कहा, "अगर लोग इस दिशा में मांग उठाएंगे तो सरकार बैन करने के बारे में सोचेगी. हमारे सभी देवों की छवि को धूमिल करने का प्रयास किया जा रहा है. हमने भगवान राम और भगवान हनुमान के कोमल चेहरे को भक्ति में सराबोर देखा है, लेकिन पिछले कुछ वर्षों से इस छवि को बदलने की कोशिश की जा रही है."
पहले आदिपुरुष के बहाने भगवान राम और हनुमान जी की तस्वीरों को वितरित करने का काम किया गया फिर शब्दों को बदला गया। अगर आज की पीढ़ी यह देखेगी तो क्या प्रभाव पड़ेगा? शब्दों की भी मर्यादा समाप्त हो गई। बजरंगबली के मुंह से वह शब्द बुलवाए जा रहे हैं जो शब्द बजरंग दल वाले बोलते हैं। यह… pic.twitter.com/t5CJ8lRJY4— ANI_HindiNews (@AHindinews) June 17, 2023
मुख्यमंत्री ने कहा कि हनुमान जी को बचपन से ही ज्ञान, शक्ति और भक्ति के प्रतीक के रूप में पेश किया गया है, लेकिन इस फिल्म में, भगवान राम को 'युद्धक' (योद्धा) दिखाया गया है. राम और हनुमान को एंग्री बर्ड के रूप में शो किया गया है. न तो हमारे पूर्वजों ने भगवान हनुमान की ऐसी छवि की कल्पना की थी और न ही हमारा समाज इसे स्वीकार करेगा."
उन्होंने कहा, “जब राजीव गांधी प्रधानमंत्री थे, तब उन्होंने रामानंद सागर को महाकाव्य धारावाहिक रामायण बनाने का सुझाव दिया था, जो बेहद लोकप्रिय हुआ. 'आदिपुरुष' के बहाने भगवान राम और हनुमान की तस्वीरों को तोड़-मरोड़ कर पेश किया गया"