खेल की खबरें | धवन के शतक पर भारी पड़ी पूरण की पारी, किंग्स इलेवन पंजाब जीता

दुबई, 20 अक्टूबर शिखर धवन का लगातार दूसरा शतक निकोलस पूरण की तूफानी अर्धशतकीय पारी के सामने फीका पड़ गया जिसके दम पर किंग्स इलेवन पंजाब ने खराब शुरुआत के बावजूद मंगलवार को यहां दिल्ली कैपिटल्स को पांच विेकेट से हराकर इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) अपनी उम्मीदें बरकरार रखी।

बेहतरीन फार्म में चल रहे धवन के 61 गेंदों पर नाबाद 106 रन की मदद से दिल्ली ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी करते हुए पांच विकेट पर 164 रन बनाये। धवन ने 12 चौके और तीन छक्के लगाये लेकिन उनके अलावा कोई भी अन्य बल्लेबाज 20 रन तक भी नहीं पहुंचा।

यह भी पढ़े | KXIP vs DC IPL Match 2002: दिल्ली कैपिटल्स ने किंग्स इलेवन पंजाब को दिया 165 रनों का लक्ष्य.

दिल्ली के बाकी बल्लेबाजों की यह नाकामी उसे भारी पड़ी क्योंकि पिच में कोई गड़बड़ी नहीं थी। ऐसे में क्रिस गेल (13 गेंदों पर 29) के बावजूद पंजाब अपने तीन प्रमुख बल्लेबाजों को 56 रन पर गंवा चुका था। पूरण ने यहीं पर जिम्मेदारी संभाली तथा 28 गेंदों पर छह चौकों और तीन छक्कों की मदद से 53 रन बनाये। ग्लेन मैक्सवेल (24 गेंदों पर 32) ने भी अहम योगदान दिया। पंजाब ने 19 ओवर में पांच विकेट पर 167 रन बनाये। दिल्ली का क्षेत्ररक्षण अच्छा नहीं रहा जिसका पंजाब ने फायदा उठाया।

पंजाब की यह दस मैचों में चौथी जीत है जिससे उसके आठ अंक हो गये हैं और वह पांचवें स्थान पर पहुंच गया है। दिल्ली की तीसरी हार है लेकिन वह 14 अंक लेकर अब भी शीर्ष पर है।

यह भी पढ़े | KXIP vs DC IPL Match 2002: दिल्ली कैपिटल्स ने जीता टॉस, पहले बल्लेबाजी का लिया फैसला.

पंजाब की शुरुआत भी अच्छी नहीं रही। कप्तान केएल राहुल (15) तीसरे ओवर में अक्षर पटेल पर गलत शॉट खेलकर पवेलियन लौटे। गेल ने तुषार देशपांडे के पारी के पांचवें ओवर में दो छक्कों और तीन चौकों की मदद से 26 रन बटोरे लेकिन रविचंद्रन अश्विन ने आते ही उनकी गिल्लियां बिखेर दी। मयंक अग्रवाल (पांच) भी पूरण के साथ गफलत में रन आउट होने के साथ चोटिल भी हो गये।

इसके बाद पूरण ने जिम्मेदारी संभाली। पिछले दो मैचों में प्रभाव छोड़ने वाले देशपांडे की लाइन व लेंथ सही नहीं थी। पूरण ने उन पर छक्का और दो चौके लगाने के बाद स्टोइनिस की गेंद भी छह रन के लिये भेजी। उन्होंने रबाडा पर चौका जड़कर 27 गेंदों पर अपना अर्धशतक पूरा किया लेकिन अगली गेंद उनके दस्तानों को चूमकर ऋषभ पंत के पास पहुंच गयी। उन्होंने मैक्सवेल के साथ 69 रन की भागीदारी की।

अब मैक्सवेल पर जिम्मेदारी थी। उन्होंने सहजता से अपनी पारी आगे बढ़ायी लेकिन जब टीम लक्ष्य से 18 रन दूर थी तब उन्होंने रबाडा की गेंद पर हवा में लहराता कैच दे दिया। रबाडा ने 27 रन देकर दो विकेट लिये। दीपक हुड्डा 15 और जेम्स नीशाम 10 रन बनाकर नाबाद रहे। नीशाम ने डेनियल सैम्स पर विजयी छक्का लगाया जो एनरिच नोर्जे की जगह अंतिम एकादश में शामिल किये गये थे।

इससे पहले तेज गेंदबाज मोहम्मद शमी (28 रन देकर दो) और स्पिनरों ग्लेन मैक्सवेल (31 रन देकर एक), मुरुगन अश्विन (33 रन देकर एक) और रवि बिश्नोई (तीन ओवर में 24 रन) ने बाकी बल्लेबाजों को खुलकर नहीं खेलने दिया लेकिन धवन के सामने उनकी एक नहीं चली। चेन्नई सुपर किंग्स के खिलाफ नाबाद 101 रन बनाने वाले धवन आईपीएल में लगातार मैचों में शतक जड़ने वाले पहले बल्लेबाज बने।

पृथ्वी सॉव (सात) लगातार चौथे मैच में दोहरे अंक में नहीं पहुंच पाये जबकि धवन ने लगातार चौथे मैच में पारी में 50 या इससे अधिक का स्कोर बनाया। आईपीएल में यह कारनामा करने वाले वह छठे बल्लेबाज हैं। उनकी टाइमिंग सटीक थी और उनके शॉट लाजवाब थे।

धवन ने शमी के एक ओवर में तीन चौके जड़कर गेंदबाजों पर दबाव बनाया। बिश्नोई पर लगाये गये छक्के से वह इस टी20 लीग में 5000 रन पूरे करने वाले पांचवें बल्लेबाज भी बने। उन्होंने 57 गेंदों पर शतक पूरा किया और अपने करियर का सर्वोच्च स्कोर बनाया।

धवन ने यह पारी तब खेली जबकि दूसरे छोर से नियमित अंतराल में विकेट गिर रहे थे। कप्तान श्रेयस अय्यर (12 गेंद पर 14) ने अपना विकेट इनाम में दिया। चोट से उबरकर वापसी करने वाले ऋषभ पंत (20 गेंदों पर 14 रन) जितने समय क्रीज पर रहे रन बनाने के लिये जूझते नजर आये। मार्कस स्टोइनिस (नौ) भी डैथ ओवरों में धवन को सहारा नहीं दे पाये। शिमरोन हेटमायर (10) आखिरी गेंद पर पवेलियन लौटे।

(यह सिंडिकेटेड न्यूज़ फीड से अनएडिटेड और ऑटो-जेनरेटेड स्टोरी है, ऐसी संभावना है कि लेटेस्टली स्टाफ द्वारा इसमें कोई बदलाव या एडिट नहीं किया गया है)