देश की खबरें | प्रधानमंत्री शुक्रवार को आयुर्वेद दिवस पर दो आयुर्वेद संस्थान राष्ट्र को समर्पित करेंगे
एनडीआरएफ/प्रतीकात्मक तस्वीर (Photo Credits: ANI)

नयी दिल्ली, 11 नवंबर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शुक्रवार को पांचवें आयुर्वेद दिवस पर आयुर्वेद संस्थानों-- जामनगर के आयुर्वेद अध्यापन एवं अनुसंधान संस्थान (आईटीआरए) और जयपुर के राष्ट्रीय आयुर्वेद संस्थान (एनआईए) को राष्ट्र को समर्पित करेंगे। आयुष मंत्रालय ने यह जानकारी दी।

मंत्रालय के अनुसार दोनों ही संस्थान देश में आयुर्वेद के प्रतिष्ठित संस्थान हैं । जामनगर के आयुर्वेद अध्यापन एवं अनुसंधान संस्थान को संसद के कानून के माध्यम से राष्ट्रीय महत्व के संस्थान (आईएनआई) का दर्जा प्रदान किया गया है जबकि जयपुर के राष्ट्रीय आयुर्वेद संस्थान को विश्वविालय अनुदान आयोग द्वारा मानद विश्वविद्यालय का दर्जा प्रदान किया गया है।

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आयुष मंत्रालय 2016 से ही धन्वंतरि जयंती के मौके पर हर साल आयुर्वेद दिवस मनाता आ रहा है। इस साल यह शुक्रवार को है।

मंत्रालय के अनुसार संसद के कानून से हाल ही में बने जामनगर का आईटीआरएस विश्वस्तरीय स्वास्थ्य देखभाल केंद्र के रूप में उभरने वाला है । उसमें 12 विभाग, तीन क्लीनिकल प्रयोगशालाएं और तीन अनुसंधान प्रयोगशालाएं हैं ।

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यह पारंपरिक दवा के क्षेत्र में अनुसंधान कार्य में अगुवा भी है, फिलहाल यहां 33 परियोजनाएं चल रही है। आईटीआरए को गुजरात आयुर्वेद विश्वविद्यालय परिसर के चार आयुर्वेदिक संस्थानों को मिलाकर बनाया गया है। यह आयुष के क्षेत्र में पहला संस्थान है जिसे आईएनआई दर्जा प्रदान किया गया।

उन्नत दर्जे के बाद आईटीआरए को आयुर्वेद शिक्षा के मानक को अद्यतन करने की स्वायत्तता होगी क्योंकि यह आधुनिक, अंतरराष्ट्रीय मानकों के अनुसार पाठ्यक्रम चलाएगा। साथ ही यह आयुर्वेद को समसामयिक बल देने के लिए अंतर-विषयक सहयोग कायम करेगा।

बयान के अनुसार जयपुर के एनआईए को मानद विश्वविद्यालय का दर्जा दिया गया है। एक सौ 75 साल के धरोहर वाले एनआईए का पिछले कुछ दशकों से आयुर्वेद के संरक्षण, संवर्धन और प्रमाणन को आगे बढ़ाने में योगदान अहम रहा है।

फिलहाल उसमें 14 विभिन्न विभाग हैं । संस्थान में विद्यार्थी-अध्यापक अनुपात बहुत अच्छा है , 2019-20 में यहां 955 विद्यार्थी और 75 अध्यापक हैं । यहां प्रमाणपत्र से लेकर डॉक्टरेट तक की डिग्रियां दी जाती है। अत्याधुनिक प्रयोगशाला सुविधाओं के साथ एनआईए अनुसंधान गतिविधियों में अग्रणी रहा है।

फिलहाल यहां 54 विभिन्न अनुसंधान परियोजनाएं चल रही है। मानद विश्वविद्यालय का दर्जा मिलने से एनआईए तृतीयक स्वास्थ्य देखभाल, शिक्षा एवं अनुसंधान के क्षेत्र में उच्च मानक हासिल करके नयी ऊंचाइयों पर पहुंचने जा रहा है।

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