नयी दिल्ली, 24 जनवरी: भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने बुधवार को कहा कि पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री और तृणमूल कांग्रेस प्रमुख ममता बनर्जी का लोकसभा चुनाव अकेले लड़ने का फैसला उनकी ‘हताशा’ का संकेत और विपक्षी दलों के गठबंधन 'इंडिया' के लिए 'मौत की घंटी' है. ममता बनर्जी ने ‘इंडियन नेशनल डेवलपमेंटल इन्क्लूसिव अलायंस’ (इंडिया) गठबंधन को एक बड़ा झटका देते हुए आज घोषणा की कि उनकी पार्टी ने पश्चिम बंगाल में आगामी लोकसभा चुनाव अकेले लड़ने का फैसला किया है.
इस घटनाक्रम पर पश्चिम बंगाल के लिए भाजपा के सह-प्रभारी और पार्टी के आईटी विभाग के प्रमुख अमित मालवीय ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, “पश्चिम बंगाल में अकेले चुनाव लड़ने का ममता बनर्जी का फैसला हताशा का संकेत है. अपनी राजनीतिक जमीन बचाने में असमर्थ होने के कारण वह सभी सीट पर चुनाव लड़ना चाहती है ताकि चुनाव के बाद भी उनकी प्रासंगिकता बनी रहे.’’
मालवीय ने कहा, ‘‘विपक्षी गठबंधन का चेहरा बनने की उनकी इच्छा के विपरीत, किसी ने कभी उनके नाम का प्रस्ताव नहीं किया. राष्ट्रीय छवि बनाने के लिए दिल्ली की कई यात्राएं करने के बावजूद कोई फायदा नहीं हुआ. वह चुनाव-पश्चात हिंसा के दाग और तुष्टीकरण की राजनीति की दुर्गंध को दूर नहीं कर सकीं.’’ उन्होंने कहा, ‘‘शर्मसार ममता ने अपना चेहरा बचाने के लिए मल्लिकार्जुन खरगे के नाम का प्रस्ताव किया और खुद को इस प्रक्रिया से बाहर कर लिया.
उन्हें एहसास हुआ कि उनके इस प्रयास के बावजूद, विपक्षी खेमे में उनकी कोई लोकप्रियता नहीं है और वह लंबे समय से बाहर निकलने के लिए जमीन तैयार कर रही थीं.’’ उन्होंने कहा, ‘‘ लेकिन तथ्य यह है कि राहुल गांधी के सर्कस के बंगाल पहुंचने से ठीक पहले उनके अकेले चुनाव लड़ने की घोषणा ‘इंडी’ गठबंधन के लिए मौत की घंटी है.’’