चेन्नई: तमिलनाडु सरकार ने बृहस्पतिवार को कहा कि राज्य में हर बार की तरह इस बार रमजान के दौरान मस्जिदों में उसके द्वारा दिये गए चावल से खिचड़ी नहीं बनाया जाए, बल्कि इस चावल को जरूरतमंद मुसलमानों के बीच बांट दिया जाए. सरकार के अनुसार कोरोना वायरस के प्रसार को रोकने के लिए लागू लॉकडाउन के कारण मस्जिदों में दलिया तैयार नहीं किया जा सकता क्योंकि पूरे देश में धार्मिक स्थल बंद है. दरअसल, तमिलनाडु की पूर्व मुख्यमंत्री दिवंगत जे जयललिता ने रजमान के दौरान इफ्तार के लिये दलिया बनाने के वास्ते मस्जिदों को मुफ्त में चावल मुहैया कराने का ऐलान किया था.
एक आधिकारिक विज्ञप्ति के अनुसार, मुख्य सचिव के षणमुगम ने इस संबंध में मुस्लिम धर्मगुरुओं के साथ बैठक की. विज्ञप्ति में कहा गया है कि तमिलनाडु वक्फ बोर्ड ने कहा है कि मस्जिदों, दरगाहों और इमामबाड़ों में नमाज पढ़ने और इफ्तार करने से परहेज करें. विज्ञप्ति के अनुसार हर साल मस्जिदों और दरगाहों को दलिया बनाकर गरीबों में बांटने के लिये 5,450 टन चावल मुहैया कराया जाता है.
इस बार भी इतना ही चावल 19 अप्रैल तक 2,895 मस्जिदों में पहुंचा दिया जाएगा, जिसे मस्जिद प्रबंधन स्वयंसेवकों की मदद से 22 अप्रैल से पहले जरूरतमंद मुसलमानों के बीच बांट सकता है.
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