जरुरी जानकारी | प्रयागराज महाकुंभ में 2.8 लाख करोड़ रुपये की आर्थिक गतिविधियों का अनुमान: रिपोर्ट

मुंबई, एक अप्रैल उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में हाल ही में संपन्न महाकुंभ मेला एक आर्थिक महाकुंभ था, जिसने 2.8 लाख करोड़ रुपये की आर्थिक गतिविधियां उत्पन्न हुई। एक रिपोर्ट में मंगलवार को यह बताया गया है।

वैश्विक आंकड़ा और विश्लेषण कंपनी ‘डन एंड ब्रैडस्ट्रीट’ की रिपोर्ट के अनुसार, उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में लाखों लोगों के एकत्र होने से बड़े पैमाने पर आर्थिक गतिविधियां हुईं। इसमें कुछ प्रत्यक्ष खर्च, कुछ अप्रत्यक्ष और कुछ प्रेरित खर्च भी शामिल हैं।

कंपनी ने कहा कि उसने आंकड़ा-आधारित दृष्टिकोण का उपयोग किया है, जिसमें अनुमान लगाने के लिए मालिकाना आर्थिक मॉडलिंग तकनीकों के साथ डेस्क पर अनुसंधान को एकीकृत करना भी शामिल है। पहले जारी किए गए कुछ अनुमानों में कुल आर्थिक गतिविधियां दो लाख करोड़ रुपये आंकी गई थी।

रिपोर्ट में कहा गया है, ‘‘... (कुंभ के) 2025 संस्करण से आर्थिक उत्पादन में 2.8 लाख करोड़ रुपये का योगदान होने का अनुमान है।’’

प्रत्यक्ष गतिविधियां 90,000 करोड़ रुपये की आंकी गई है। इसमें परिवहन, आवास, भोजन, पर्यटन सेवाएं और स्थानीय वाणिज्य सहित उपस्थित लोगों द्वारा किए गए व्यय शामिल हैं।

अप्रत्यक्ष प्रभाव की गतिविधियां 80,000 करोड़ रुपये आंकी गई है। अप्रत्यक्ष प्रभाव सीधे प्रभावित क्षेत्रों में बढ़ती मांग के प्रति आपूर्ति शृंखला की प्रतिक्रिया से आता है, जैसे कि होटल बुकिंग बढ़ने के कारण आदि।

कंपनी ने कहा कि कुंभ के ‘प्रेरित’ प्रभाव के कारण स्थानीय अर्थव्यवस्था में व्यय में वृद्धि हुई है, जिसके कारण श्रमिकों ने आवास, शिक्षा, स्वास्थ्य सेवा और दैनिक आवश्यक वस्तुओं में पुनर्निवेश किया है। कंपनी ने कहा कि इससे 1.1 लाख करोड़ रुपये का निवेश होगा।

खर्च वर्गीकरण के नजरिये से 2.3 लाख करोड़ रुपये को उपभोग व्यय के रूप में चिह्नित किया गया है, जबकि शेष 50,000 करोड़ रुपये बुनियादी ढांचे के निर्माण पर पूंजीगत व्यय है।

रिपोर्ट में कहा गया है कि अकेले परिवहन ने उपभोग व्यय में आधा योगदान दिया, और इसे 37,000 करोड़ रुपये आंका गया, जिसमें से अकेले रेलवे ने 17,700 करोड़ रुपये कमाए।

रिपोर्ट के अनुसार, तीर्थयात्रियों ने हेलिकॉप्टर जॉयराइड, हॉट एयर बैलून राइड, एटीवी राइड और एडवेंचर स्पोर्ट्स, मनोरंजन पार्क में प्रवेश, योग सत्र और गाइड के साथ शहर के दौरे जैसी मनोरंजक गतिविधियों पर 10,000 करोड़ रुपये खर्च किए।

इसमें बताया गया है कि खुदरा व्यापार में लगे लगभग दो लाख विक्रेताओं ने 7,000 करोड़ रुपये की गतिविधियां की, जबकि खाद्य सेवाओं ने 6,500 करोड़ रुपये कमाए।

अकेले चाय की दुकान वालों ने प्रतिदिन 30,000 रुपये तक कमाए, जबकि पूड़ी की दुकान वालों ने कुंभ अवधि के दौरान औसतन 1,500 रुपये प्रतिदिन कमाए।

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