जयपुर, 18 फरवरी राजस्थान के राज्यपाल कलराज मिश्र ने युवाओं के बेहतर कल के लिए राज्य में उद्यमिता को बढ़ावा देने के साथ ही रोजगार के नवीन क्षेत्रों की तलाश कर उन पर कार्य करने की आवश्यकता जताई है।
उन्होंने स्थानीय संसाधनों के समुचित उपयोग से वृहद, मध्यम एवं लघु उद्योगो को बढ़ावा दिए जाने का आह्वान किया है। मिश्र बृहस्पतिवार को यहां एक निजी संस्थान की आठवीं इंटरनेशनल ‘यूथ 2025’ कांफ्रेंस का ऑनलाइन उदघाटन कर रहे थे।
उन्होंने कहा कि वही विकास दीर्घकाल तक स्थायी रह सकता है जिसमें प्रकृति के अधिकाधिक दोहन की बजाय संरक्षण की सोच के साथ कार्य किया जाए। उन्होंने युवाओं को देश की प्राकृतिक संपदा के संरक्षण की सोच रखते हुए व्यावसायिक विकास के नवाचारों पर अधिकाधिक ध्यान देने पर जोर दिया।
उन्होंने कहा कि व्यवसाय में बेहतर प्रबंध से उसकी सफलता सुनिश्चित होती है।
मिश्र ने ‘आत्मनिर्भर भारत’ के लिए उद्यमशीलता और नवोन्मेष को बढ़ावा देने पर जोर देते हुए कहा कि उच्चतम प्रौद्योगिकियों को अपनाने के साथ ही देश के छोटे व मझोले उद्यमों के विकास को सभी स्तरों पर सुनिश्चित किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि छोटे व मध्यम उद्योग किसी भी देश की अर्थव्यवस्था की रीढ़ होते हैं, उन पर विशेष ध्यान देने के साथ ही उनसे संबंधित उत्पादों के वैश्विक विपणन पर भी ध्यान दिया जाए। इसके लिए व्यावसायिक शिक्षण संस्थाओं में आरम्भ से ही शिक्षण-प्रशिक्षण की व्यवस्था होनी चाहिए।
मिश्र ने कहा कि राजस्थान उद्योगपतियों की नर्सरी है। राजस्थान के कारोबारियों ने पूरे विश्व में अपने कौशल और सूझ-बूझ की गहन व्यावसायिक दृष्टि से विशिष्ट पहचान बनायी है।
उन्होंने नवलगढ़, पिलानी, सुजानगढ़ से बाहर गए उद्यमियों की चर्चा करते हुए कहा कि जरूरत इस बात की भी है कि राजस्थान के प्रवासी उद्यमी राज्य में ही उद्योग धन्धे स्थापित कर यहां अधिकाधिक निवेश कर युवाओं को रोजगार के अवसर प्रदान करें।
कुंज पृथ्वी
(यह सिंडिकेटेड न्यूज़ फीड से अनएडिटेड और ऑटो-जेनरेटेड स्टोरी है, ऐसी संभावना है कि लेटेस्टली स्टाफ द्वारा इसमें कोई बदलाव या एडिट नहीं किया गया है)