नई दिल्ली:- हौसले बुलंद हो तो इंसान कुछ भी कर सकता है. किसी ने सही कहा है कि अपनी किस्मत को हम खुद संवार सकते हैं. कुछ ऐसा ही पाकिस्तान (Pakistan) की ट्रांसजेंडर निशा राव (Nisha Rao) ने कर दिखाया. निशा पाकिस्तान की पहली ट्रांसजेंडर (Transgender) वकील बन गई हैं. निशा राव इन दिनों दुनियाभर में चर्चा का केंद्र बनी हुई हैं. 28 साल की निशा राव इस वक्त कराची में वकालत कर रही हैं. इसे आगे भी उन्होंने सपना देख रहा है. समाचार एजेंसी रॉयटर्स की खबर के मुताबिक निशा का सपना है कि वो भविष्य में पाकिस्तान की पहली ट्रांसजेंडर जज बनना चाहती हैं. निशा राव को इस मुकाम को हासिल करने लिए कड़ी मशक्कत करनी पड़ी. लेकिन निशा आज सभी के लिए मिसाल बन गई हैं.
बता दें कि निशा राव का जन्म पाकिस्तान के कराची शहर में हुआ था. लेकिन पाकिस्तान में ट्रांसजेंडर के लिए राह इनती आसान नहीं होती है. इस दौरान उन्हें असमानता और अन्याय का सामना करना पड़ता है. शायद यही कारण था कि निशा राव ने 18 साल की उम्र घर छोड़ दिया. इस दौरान जीवन गुजर-बसर करने लिए निशा को भीख तक मांगने पड़े थे. लेकिन कुछ करने की चाह में निशा राव ने किसी तरह से कानून की पढ़ाई शुरू कर दी. इस दौरान पैसे जमा करने लिए कभी भीख तो कभी शादियों में नाच के पैसे जमा किए. Pakistan: पाकिस्तान में अब बलत्कार के दोषियों को मिलेगी खौफनाक सजा, केमिकल से बना दिया जाएगा नपुंसक, कानून को मिली मंजूरी.
ट्वीट:-
Nisha Rao has become the first transgender lawyer of Pakistan.
The 28-year-old (from the minority community in Pakistan) once used to beg in the streets to survive.
What an admirable story!@NishaRao, may you continue to inspire 👏👏 pic.twitter.com/0A1gJCtphF
— Geeta Mohan گیتا موہن गीता मोहन (@Geeta_Mohan) November 27, 2020
निशा की इसी लगन ने उन्हें के वकील बना दिया. आज कराची बार एसोसिएशन से लाइसेंस हासिल कर चुकी हैं. ऐसा करने वाली वो पहली ट्रांसजेंडर हैं. रिपोर्ट के मुताबिक निशा राव अब तक 50 केस लड़ चुकी हैं. इसी के साथ अब निशा पाकिस्तान में ट्रांसजेंडर लोगों के लिए काम करने असोसिएशन भी जुड़ गई हैं. गौरतलब हो कि पाकिस्तान में साल 2018 में ट्रांसजेंडरों को सामान्य लोगों के रूप में मान्यता देने के लिए एक कानून को मंजूरी दी गई थी.