Chandrayaan 2: इसरो ने चंद्रमा की सतह की पहली जगमग तस्वीर जारी की

भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने गुरुवार को चंद्रयान 2 के आईआईआरएस पेलोड द्वारा ली गई चंद्रमा के सतह की पहली जगमग तस्वीर जारी की है. इसरो ने अपने ऑफिशियल ट्विटर हैंडल से इस तस्वीर को शेयर करते हुए बताया है कि आईआईआरएस को इस तरह से डिजाइन किया गया है जिससे वह चंद्रमा की सतह से नैरो और कॉन्टिगुअस स्पेक्ट्रल चैनल में रिफलेक्टेड सनलाइट को माप सके.

चंद्रमा के सतह की पहली जगमग तस्वीर (Photo Credits- Twitter@isro)

भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) ने गुरुवार को चंद्रयान 2 (Chandrayaan 2) के आईआईआरएस (IIRS) पेलोड द्वारा ली गई चंद्रमा के सतह (Lunar Surface) की पहली जगमग तस्वीर जारी की है. इसरो ने अपने ऑफिशियल ट्विटर हैंडल से इस तस्वीर को शेयर करते हुए बताया है कि आईआईआरएस को इस तरह से डिजाइन किया गया है जिससे वह चंद्रमा की सतह से नैरो और कॉन्टिगुअस स्पेक्ट्रल चैनल (Narrow and Contiguous Spectral Channels) में रिफलेक्टेड सनलाइट (Reflected Sunlight) को माप सके. यह तस्वीर उत्तरी गोलार्ध में चंद्रमा के उस पार के हिस्से को कवर करती है.

इससे पहले इसरो ने अक्टूबर के पहले हफ्ते में चंद्रयान-2 ऑर्बिटर पर स्थित ऑर्बिटर हाई रिजोल्यूशन कैमरा (ओएचआरसी) द्वारा ली गईं चंद्रमा की सतह की तस्वीरें जारी की थी. इस दौरान इसरो ने बताया था किऑर्बिटर ने चंद्रमा की सतह से 100 किलोमीटर की ऊंचाई से ली गईं ये तस्वीरें चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुवीय क्षेत्र में स्थित बोगस्लावस्की ई क्रेटर और उसके आस-पास की हैं. इसका व्यास 14 किलोमीटर और गहराई तीन किलोमीटर है. यह भी पढ़ें- पूर्व इसरो प्रमुख किरण कुमार बोले, ‘चंद्रयान-2’ का ऑर्बिटर ‘‘बेहतर परिणाम’’ हासिल करने में सक्षम.

इसरो का ट्वीट-

इसरो ने कहा था कि तस्वीरों में चंद्रमा पर बड़े पत्थर और छोटे गड्ढे दिख रहे हैं. गौरतलब है कि इसरो के चंद्रयान-2 के विक्रम मॉड्यूल का सात सितंबर को चंद्रमा की सतह पर सॉफ्ट लैंडिंग कराने का प्रयास तय योजना के मुताबिक पूरा नहीं हो पाया था. लैंडर का आखिरी क्षण में जमीनी केंद्रों से संपर्क टूट गया था.

Share Now

\