Telugu Hanuman Jayanthi 2025: तेलुगु हनुमान जयंती कब मनाई जाएगी? जानें मुहूर्त, मंत्र, एवं पूजा-विधि!
हनुमान जयंती 2025 (Photo Credits: File Image)

तेलुगु हनुमान जयंती पवनपुत्र हनुमान के जन्म का सम्मान करने वाला एक पवित्र एवं आध्यात्मिक पर्व है. इस अवसर पर हनुमान भक्त ब्रह्मचर्य का पालन करते हुए हनुमान भक्त 41 दिनों की दीक्षा लेते हैं. इस पर्व की धूम आंध्र प्रदेश और तेलंगाना में विशेष रूप से देखने को मिलती है. तेलुगु पंचांग के अनुसार इस वर्ष 22 मई 2025 गुरुवार को हनुमान जयंती मनाई जाएगी. आइये बात करते हैं तेलुगु हनुमान जयंती के बारे में विस्तार से...

तेलुगु हनुमान जयंती का महत्व

तेलुगु परंपरा के अनुसार हनुमान जयंती का पर्व 41 दिनों तक मनाया जाता है, जो चैत्र पूर्णिमा से शुरु होकर वैशाख मास कृष्ण पक्ष की दसमी, यानी हनुमान जयंती के दिन समाप्त होती है. इस अवसर पर भक्त व्रत रहते हुए हनुमान चालीसा, सुंदरकांड, बजरंग बाण, हनुमान अष्टकम का पाठ करते हैं. हनुमान भक्त इन 41 दिनों तक दीक्षा लेते हैं. इस दरमियान भक्त ब्रह्मचर्य का पालन करते हुए जमीन पर सोते हैं, मांसाहार को परहेज करते हैं, प्रतिदिन हनुमान जी की पूजा अनुष्ठान करते हैं. हिंदू पौराणिक कथाओं के अनुसार यहां भी हनुमान भक्त उन्हें चिरंजीवी मानते हैं, और मान्यता है कि हनुमान जी कलियुग तक अपने भक्तों की रक्षा हेतु पृथ्वी पर मौजूद रहेंगे. यह भी पढ़ें : Shani Jayanti 2025: शनिदेव की पूजा घर पर क्यों नहीं करते? जानें शनि जयंती का महत्व, मूल तिथि, पूजा का मुहूर्त एवं विधि!

हनुमान जयंती (तेलुगु) मूल तिथि एवं शुभ मुहूर्त

ज्येष्ठ मास दशमी प्रारंभः 03.21 AM (22 मई 2025, गुरुवार)

ज्येष्ठ मास दशमी समाप्त 01.12 AM (23 मई 2025, शुक्रवार)

उदया तिथि के अनुसार 22 मई 2025 को हनुमान जयंती (तेलुगु) मनाई जाएगी.

तेलुगु भाषियों के लिए यह दिन क्यों खास है?

महाबलशाली हनुमान अपनी अटूट भक्ति, असीम शक्ति और भगवान राम के प्रति निस्वार्थ सेवा भाव के कारण हर हिंदू भक्तों के लिए परम पूजनीय हैं.  तेलुगु भाषी हनुमान भक्तों में आस्था है कि हनुमान जयंती के दिन व्रत एवं विधिवत पूजा करने से साहस और शक्ति मिलती है, सारी बाधाएं दूर होती हैं और हनुमान जी से स्वास्थ्य और सुरक्षा का आशीर्वाद प्राप्त होता है.

हनुमान जयंती की पूजा विधि

हनुमान जयंती के दिन भगवान अंजनेय (हनुमानजी) की जयंती के दिन सुबह सूर्योदय से पूर्व स्नान कर स्वच्छ वस्त्र धारण करें. हनुमान जी का ध्यान कर व्रत एवं पूजा का संकल्प लें और अपनी मनोकामना व्यक्त करें. एक स्वच्छ चौकी पर पीला वस्त्र बिछाएं. अब संपूर्ण स्थल को पीले फूल से सजाएं. हनुमान की प्रतिमा या फोटो स्थापित करें. धूप दीप प्रज्वलित कर निम्न मंत्र का 108 जाप करें.

‘ॐ हनुमंते नमः’

अब हनुमान जी को सिंदूर अर्पित करें. इसके बाद पान, सुपारी, इत्र, दूर्वा चढ़ाएं. भोग में केला और बूंदी के लड्डू चढ़ाएं. हनुमान चालीसा, बजरंग बाण और सुंदरकांड का पाठ करें. अंत में भगवान हनुमान जी की आरती उतारें और सभी को प्रसाद वितरित करें.