25 सितंबर का दिन अंतर्राष्ट्रीय गतिभ्रंश (Ataxia) जागरूकता दिवस के रूप में मनाया जाता है. यह दिवस विशेष तंत्रिका तंत्र के अपक्षयी रोग (Degenerative Disease) को समर्पित है और व्यक्तियों एवं गतिभ्रंश संगठनों के मिले-जुले प्रयास से यह दिवस सेलीब्रेट किया जाता है. इस दिन विशेषज्ञ और स्वयंसेवक आदि इस दुर्लभ अपक्षयी बीमारी पर प्रकाश डालते हैं. कोरोनावायरस महामारी के बीच सोशल मीडिया का उपयोग करके भी लोगों में एटेक्सिया के प्रति जागरुकता पैदा करने में मदद किया जा सकता है.
इस बीमारी में जागरुकता फैलाने के प्रयासों में मदद के लिए आप गतिभ्रंश (गतिभंग) के बारे में कुछ निजी जानकारी, कहानी, आर्टिकल आदि भी पोस्ट कर इसके बारे में प्रचार-प्रसार कर सकते हैं. गतिभ्रंश एक ऐसी बीमारी है, जो हर उम्र के लोगों को प्रभावित करती है. इसके लक्षण जीवन की शुरुआती उम्र से लेकर वयस्कता तक विभिन्न रूपों से अलग-अलग तरह से हो सकती है.
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रोग की जटिलताएं गंभीर होती हैं. अकसर यह बीमारी व्यक्ति को बेहद कमजोर कर देती है, और कभी-कभी जीवनघाती भी साबित हो सकती है. गतिभ्रंश से पीड़ित मरीजों को ह्वीलचेयर, वॉकर आदि की सहायता लेनी पड़ती है. हांलाकि आज भी अधिकांश लोग गतिभ्रंश जैसी बीमारी के बारे में ज्यादा कुछ नहीं जानते. यह घातक आनुवंशिक रूप से आधारित अपक्षयी तंत्रिका संबंधी विकारों के समूह को दर्शाता है. प्राप्त आंकड़ों के अनुसार संयुक्त राज्य अमेरिका में प्रतिवर्ष लगभग एक लाख 50 हजार लोग गतिभ्रंश जैसी बीमारी से पीड़ित होते हैं.
क्या है गतिभ्रंश?
एटेक्सिया तंत्रिका तंत्र की एक अपक्षयी बीमारी है, जो आपकी चलती-फिरती जिंदगी को बुरी तरह से प्रभावित कर सकती है. इसके कुछ लक्षणों में नशे जैसे हाव-भाव, अस्पष्ट उच्चारण, बार-बार ठोकर लगना, गिरना और खुद पर संयम नहीं रख पाना इत्यादि हो सकता है. इस तरह के लक्षण सेरिबेलम के क्षतिग्रस्त होने के कारण होते हैं, यह मस्तिष्क का वह हिस्सा होता है, जो व्यक्ति की एक्टिविटीज के लिए उत्तरदायी होता है.
ऐसे उत्पन्न हो सकता है गतिभ्रंश:
* खराब समन्वय
* अनियंत्रित चाल एवं इसकी वजह से ठोकर लगना
* खाने, लिखने अथवा शर्ट में बटन लगाने में दिक्कतें आना एवं दोषपूर्ण उच्चारण
* खाने की चीजें निगलने में कठिनाई आना
गतिभ्रंश के कारण और उपचार:
गतिभ्रंश अमूमन मस्तिष्क के सेरिबलम वाले हिस्से के क्षतिग्रस्त होने के कारण उत्पन्न होता है. लेकिन कभी-कभी यह बीमारी रीढ़ की हड्डी अथवा किसी महत्वपूर्ण नसों में किसी तरह की खराबी होने से भी हो सकता है. रीढ़ की हड्डी के साथ ढेर सारी नसों का गट्ठर जैसा होता है, जो रीढ़ को नीचे और मस्तिष्क को शरीर के अन्य हिस्सों से जोड़ता है. चिकित्सकों का भी यही मानना है कि गतिभ्रंश का कोई उपचार नहीं है. लेकिन कुछ मामले ऐसे भी देखने में आये हैं, जो आंतरिक कारणों से गतिभ्रंश की समस्या को कुछ हद तक सुलझा देते हैं. जैसे किसी मेडिसिन विशेष को ना लेना, जो इस बीमारी का कारण हो सकता है. इसके अलावा चिकनपॉक्स या अन्य वायरल संक्रमणों के कारण भी व्यक्ति इस बीमारी से ग्रस्त हो सकता है. ऐसी स्थिति में ये अपने आप भी ठीक हो सकते हैं.