Nirajala Ekadashi Wishes 2021: निर्जला एकादशी व्रत सोमवार, 21 जून, 2021 को मनाया जाएगा. निर्जला एकादशी एक वर्ष में सभी चौबीस एकादशियों में से सबसे महत्वपूर्ण एकादशी है. इस दिन भगवान शिव के भक्त पूरे दिन उपवास रखते हैं और पानी पीने और भोजन करने से परहेज करते हैं. हिंदू कैलेंडर वर्ष में आने वाली 24 एकादशियों में ज्येष्ठ महीने की एकादशी (ग्रेगोरियन कैलेंडर में मई या जून), जिसे निरजला एकादशी भी कहा जाता है, को सबसे अधिक तपस्या वाला माना जाता है. इसलिए इसे सबसे पवित्र माना जाता है. अन्य एकादशियों के विपरीत, निर्जला एकादशी के दिन निर्जला व्रत रखा जाता है.
निर्जला एकादशी को भीमसेनी एकादशी (Bhimseni Ekadashi) के नाम से भी जाना जाता है, जिसका नाम भीम के नाम पर रखा गया है, जो पांच पांडव भाइयों में दूसरे और सबसे मजबूत, हिंदू महाकाव्य महाभारत के नायक हैं. हिंदू किंवदंतियों के अनुसार, भीम, को खाना बहुत पसंद था, वो सभी एकादशी व्रतों का पालन करना चाहते थे, लेकिन अपनी भूख को नियंत्रित नहीं कर सके. जिसके बाद वे समाधान के लिए ऋषि वेद व्यास के पास पहुंचे. ऋषि व्यास ने भीम को निर्जला एकादशी का पालन करने की सलाह दी, जो वर्ष में एक बार आती है और सभी 24 एकादशियों का लाभ देती है.
1- दो नयनों में क्यों रहें, निरंतर चर्तुर्मास,
एकादशी है निर्जला, रख लो तुम उपवास.
निर्जला एकादशी की शुभकामनाएं

2- ताल बजे, मृदंग बजे,
और बजे हरी की वीणा,
जय राम, जय राम कृष्ण हरी.
निर्जला एकादशी की शुभकामनाएं

3- शान्ताकारं भुजगशयनं पद्नानाभं सुरेशं।
विश्वधारं गगनसद्शं मेघवर्णं शुभाड्गमं।
लक्ष्मीकांत कमलनयनं योगिभिर्ध्यानगम्यं।
वंदे विष्णु भवभयहरं सर्वलोकैकनाथम्।
निर्जला एकादशी की शुभकामनाएं

4- विष्णु जिनका नाम है,
वैकुंठ जिनका धाम है,
जगत के पालनहार को,
हमारा शत-शत प्रणाम है.
निर्जला एकादशी की शुभकामनाएं

5- ऊं नमो भगवते वासुदेवाय नमः
निर्जला एकादशी की शुभकामनाएं

निर्जला एकादशी अपने नाम के अनुरूप बहुत कठिन व्रत है. इस व्रत के उपवासी को संकल्प से पारण तक जल की एक बूंद भी ग्रहण नहीं करना चाहिए, बल्कि एक दिन पूर्व यानी दशमी की शाम से ही चावल का सेवन नहीं करना चाहिए और इस रात मांसाहार एवं शराब का सेवन नहीं करना चाहिए तथा केवल सात्विक भोजन ही करना चाहिए. एकादशी के दिन पूरे समय भगवान विष्णु का ध्यान करना चाहिए.













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