Monkey Day 2019: एक मजाक के रूप में हुई थी 14 दिसंबर को मंकी डे मनाने की शुरुआत, जानें इसका इतिहास और बंदरों से जुड़े रोचक तथ्य
मंकी डे 2019 (Photo Credits: Pixabay)

Monkey Day 2019: हर साल 14 दिसंबर को मंकी डे यानी बंदर दिवस (Monkey Day) मनाया जाता है और बंदरों (Monkeys) के प्रति प्यार जताया जाता है. आपको जानकर हैरानी होगी कि साल 2000 में इस दिवस को मनाए जाने की शुरुआत एक मजाक के तौर पर हुई थी. इस दिवस को संयुक्त राष्ट्र (United Nations) ने घोषित नहीं किया, बावजूद इसके इस दिवस को सैकड़ों लोग मनाते हैं. दरअसल, इस दिवस को मनाने का सारा श्रेय कैसे सॉरो और एरिक मिलीकिन को जाता है. उन्होंने इस दिवस को मनाने की शुरुआत भले ही मजाक के तौर पर की हो, लेकिन इसका मकसद लोगों के मन में जानवरों (Animals) के प्रति प्यार जताना है. इस दिन दुनियाभर के चिड़ियाघरों में बंदरों के लिए कार्यक्रम रखे जाते हैं. चलिए जानते हैं बंदर दिवस का इतिहास और बंदरों से जुड़ी रोचक बातें.

मंकी डे का इतिहास

मंकी डे की शुरुआत से जुड़ी कहानी बहुत मजेदार है. दरअसल, साल 2000 में कैसे सॉरो पढ़ते समय एक दिन अपने दोस्त के घर टंगे कैलेंडर में दिसंबर की 14 तारीख पर मंकी डे की चिट लगा दी. उन्होंने यह चिट मजाक के तौर पर लगाई थी, लेकिन उनके दोस्तों ने इसे सच मानकर इस दिवस को मनाया. इसके बाद श्रेय कैसे सॉरो और एरिक मिलीकिन मिलकर इस दिवस को प्रमोट करने में जुट गए.

वो बंदरों के चित्र और पेंटिंग बनाकर लोगों को उनके बारे में बताते थे, फिर देखते-देखते यह दिवस लोगों के बीच काफी लोकप्रिय होने लगा. इसके बाद से हर साल 14 दिसंबर को मंकी डे मनाया जाने लगा. इस दिन दुनियाभर के चिड़िया घरों और सार्वजनिक स्थलों पर बंदरों से जुड़े कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं.

बंदरों से जुड़े रोचक तथ्य

1- बंदरों को 2 हिस्सों में बांटा गया है, जिसके अनुसार अफ्रीका और एशिया में रहनेवाले बंदर पुराने बंदर और दक्षिण अमेरिका में रहनेवाले बंदर नए बंदर कहलाते हैं.

2- नए बंदरों के 36 दांत, जबकि पुराने बंदरों के 32 दांत होते हैं. दुनियाभर में बंदरों की 260 प्रजातियां है और इनमें से सबसे ज्यादा ब्राजील में पाई जाती हैं.

3- बंदरों और मनुष्यों का डीएनए करीब 98 फीसदी तक एक-दूसरे से मिलता है. उनका आईक्यू लेवल 174 होता है और वो गिनती भी गिन सकते हैं.

4- बंदर अपनी फीमेल पार्टनर को सेक्स के लिए लुभाने के लिए पहले अपने हाथों पर पेशाब करते हैं और फिर उसे पूरे शरीर पर रगड़ लेते हैं.

5- मनुष्यों के अलावा बंदर ही एकमात्र ऐसे प्राणी हैं जो केले के छिलके उतारकर खाते हैं, लेकिन बंदर केले हमेशा उल्टा ही छिलते हैं. यह भी पढ़ें: World Animal Day 2019: जानवरों के प्रति जागरुकता का दिन है विश्व पशु दिवस, जानिए इसका इतिहास और महत्व

6- जब भी बंदरों को शीशा मिलता है तो वो अपना चेहरा देखने के बजाय सबसे पहले अपने गुप्तांगों का निरीक्षण करते हैं.

7- साल 2011 में एक बंदर भारत के बॉर्डर को पार करके पाकिस्तान पहुंच गया था, बॉर्डर पार करने के आरोप में उस बंदर को पाकिस्तान में गिरफ्तार किया गया था.

8- दुनिया के सबसे बड़े बंदर का नाम मैंड्रिल (Mandrill) है. उसका वजन 35 किलो और लंबाई 3.3 फीट बताई जाती है.

9- दुनिया के सबसे छोटे बंदर का नाम Pygmy Marmoset है. इसका आकार इतना छोटा है कि वो इंसान की हथेली पर भी आ सकता है.

10- अंतरिक्ष में जानेवाले सबसे पहले बंदर का नाम Albert II था, जिसे साल 1949 में पृथ्वी से 83 मील ऊंचाई पर भेजा गया था.

बहरहाल, भले ही बंदर दिवस की शुरुआत मजाक के तौर पर की गई हो, लेकिन आज दुनिया भर के देशों में 14 दिसंबर को मंकी डे मनाकर उनके प्रति प्यार जताया जाता है. अगर आप भी जानवरों से प्रेम करते हैं तो इस दिवस को मनाकर उनके प्रति अपना प्यार  जाहिर करें.