Happy Hartalika Teej 2020 Messages In Hindi: आज सुहागन महिलाएं अखंड सौभाग्य का पर्व हरतालिका तीज (Hartalika Teej) मना रही हैं. हरतालिका तीज का यह त्योहार (Hartalika Teej Vrat) हर साल भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को मनाया जाता है. इस व्रत को बहुत कठिन माना जाता है और इससे जुड़े नियम भी कठोर होते हैं. कहा जाता है कि एक बार इस व्रत को शुरू करने के बाद जीवन भर करना पड़ता है. अगर कोई महिला इस व्रत को करने में असमर्थ है तो इसका उद्यापन कर इसे घर की किसी और महिला को सौंप सकती है. इस दिन निर्जल व्रत रखकर भगवान शिव (Lord Shiva) और माता पार्वती (Mata Parvati) की पूजा का विधान है. मान्यता है कि इस व्रत से सुहागन स्त्रियों के पति की उम्र लंबी होती है और उन्हें सुखी वैवाहिक जीवन का आशीर्वाद प्राप्त होता है. इसके अलावा इस व्रत के प्रभाव से पति-पत्नी के बीच की अनबन दूर होती है और दोनों के बीच प्रेम बढ़ता है.
हरतालिका तीज के पर्व को बिहार, झारखंड, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ और राजस्थान में धूमधाम से मनाया जाता है. इस शुभ अवसर पर आप अपनों को तीज की बधाई न दें, ऐसा कैसे हो सकता है? आप इन प्यारे मैसेजेस, वॉट्सऐप स्टिकर्स, फेसबुक ग्रीटिंग्स, जीआईएफ इमेजेस, फोटो एसएमएस, वॉलपेपर्स और कोट्स के जरिए अखंड सौभाग्य के पर्व हरतालिका तीज की अपनों को शुभकामनाएं दे सकते हैं.
1- व्रत तीज का है, त्योहार मधुर प्यार का,
दिल की श्रद्धा और सच्चे विश्वास का,
बिछिया पैरों में हो, माथे पर बिंदिया,
हर जन्म में मिलन हो हमारा पिया.
हरतालिका तीज की शुभकामनाएं
2- तीज का त्योहार है उमंगों का त्योहार,
फूल खिले हैं बागों में, बारिश की है फुहार,
दिल से आप सब को मुबारक हो,
प्यारा ये तीज का त्योहार.
हरतालिका तीज की शुभकामनाएं
3- भादो लाया है तीज का त्योहार,
बुला रही है आपको खुशियों की बहार.
हरतालिका तीज की शुभकामनाएं
4- चंदन की खुशबू,
बादलों की फुहार,
आप सभी को मुबारक हो,
प्यारा तीज का त्योहार.
हरतालिका तीज की शुभकामनाएं
5- तीज का त्योहार आपके जीवन में,
ढेर सारी खुशियां लेकर आए,
जीवन साथी संग बच्चों के लिए भी,
सुख-शांति और सेहत का वरदान लाए.
हरतालिका तीज की शुभकामनाएं
पौराणिक मान्यता के अनुसार भगवान शिव को पति के रूप में पाने के लिए देवी पार्वती ने इस व्रत को किया था. हरतालिका तीज के व्रत को सबसे कठिन व्रतों में से एक माना जाता है. मान्यता है कि जो महिलाएं इस व्रत को करती हैं उन्हें भगवान शिव और माता पार्वती की कृपा प्राप्त होती है. इस दिन हाथों में मेहंदी रचाने और सोलह श्रृंगार करने का भी विशेष महत्व होता है. सुहागन स्त्रियां जहां अपने पति की दीर्घायु के लिए यह व्रत करती हैं तो वहीं कुंवारी कन्याएं अच्छे वर की कामना से यह व्रत करती हैं.