TTD Employees Issue: तिरुमला तिरुपति देवस्थानम ने 18 ईसाई कर्मचारियों पर की सख्त कार्रवाई, धार्मिक नियमों के उल्लंघन का आरोप; ओवैसी ने फैसले को बताया सही (Watch Video)
Tirupati Mandir | PTI

TTD Orders Action Against Non-Hindu Staff: आंध्र प्रदेश स्थित तिरुमला तिरुपति देवस्थानम्स (TTD) ने 18 ईसाई कर्मचारियों पर सख्त कार्रवाई की है. इन कर्मचारियों पर आरोप है कि वे ईसाई धर्म का पालन कर रहे थे, जबकि उन्होंने हिंदू धर्म और परंपराओं का पालन करने की शपथ ली थी. इस मामले में TTD ने इन कर्मचारियों को धार्मिक आयोजनों में शामिल होने से रोक दिया है. TTD के आदेश के अनुसार, यह सभी 18 कर्मचारी अलग-अलग संस्थानों में कार्यरत थे, जिसमें लेक्चरर, हॉस्टल स्टाफ, कार्यालय सहायक, इंजीनियर, हेल्पर, नर्स और अन्य पैरामेडिकल स्टाफ शामिल थे.

आदेश में साफ कहा गया है कि इन कर्मचारियों को तिरुमला मंदिर या किसी भी धार्मिक कार्य से जुड़े पदों पर नहीं रखा जाएगा, क्योंकि इन्होंने धार्मिक नियमों का उल्लंघन किया है.

ये भी पढें: तिरुपति मंदिर बोर्ड का सख्त फैसला, 18 गैर-हिंदू कर्मचारियों को हटाया, ट्रांसफर या रिटायरमेंट का दिया विकल्प

TTD ने ने 18 ईसाई कर्मचारियों पर की सख्त कार्रवाई

ओवैसी ने फैसले को बताया सही

TTD के सख्त नियम

TTD में नौकरी के दौरान सभी कर्मचारियों को हिंदू धर्म और परंपराओं का पालन करने की शपथ लेनी होती है. यह नियम 1989 के सरकारी आदेश (G.O.Ms. No. 1060 Revenue) के तहत लागू किया गया था. इसके बावजूद, ये 18 कर्मचारी लगातार ईसाई धर्म का पालन कर रहे थे और चर्च जाते थे. कुछ कर्मचारियों को काम के दौरान बाइबिल रखते हुए भी पाया गया.

ये भी पढें: TTD Vaikunta Ekadasi 2025: तिरुपति मंदिर में वैकुंठ एकादशी दर्शन के लिए टिकट बुकिंग शुरू, ऐसे करें ऑनलाइन बुक

कर्मचारियों की तैनाती की हो रही समीक्षा

TTD के मुख्य कार्यकारी अधिकारी (CEO) जे. श्यामला राव द्वारा जारी आदेश में कहा गया है कि संबंधित अधिकारियों को इन कर्मचारियों की वर्तमान पोस्टिंग की समीक्षा करने के लिए कहा गया है. अगर ये कर्मचारी किसी भी धार्मिक गतिविधि से जुड़े पदों पर कार्यरत हैं, तो उन्हें तुरंत वहां से हटाने का निर्देश दिया गया है.

TTD ट्रस्ट बोर्ड की बैठक में बड़ा फैसला

TTD ट्रस्ट बोर्ड की बैठक 18 नवंबर 2024 को हुई थी, जिसमें यह निर्णय लिया गया था कि मंदिर प्रशासन में कार्यरत गैर-हिंदू कर्मचारियों को सरकार को सौंप दिया जाएगा. TTD के अध्यक्ष बी.आर. नायडू ने बताया, "हम राज्य सरकार को पत्र लिखकर अनुरोध करेंगे कि इन कर्मचारियों को अन्य सरकारी विभागों में समायोजित किया जाए या फिर स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति योजना (VRS) का विकल्प दिया जाए. तिरुपति मंदिर एक हिंदू धार्मिक संस्था है और ट्रस्ट बोर्ड का मानना है कि इसमें केवल हिंदू कर्मचारियों को ही कार्यरत रखा जाना चाहिए."

ये भी पढें: Tirupati Temple Stampede: तिरुपति मंदिर हादसा, सीएम चंद्रबाबू नायडू का ऐलान, मृतकों के परिवारों को 25-25 लाख रुपये देगी अनुग्रह राशि, 6 श्रद्धालुओं की गई है जान

नेताओं की प्रतिक्रिया

आंध्र प्रदेश के मंत्री नारा लोकेश ने इस फैसले का समर्थन करते हुए कहा, "हमने चुनाव से पहले भी इस मुद्दे पर चर्चा की थी और अब इसे तार्किक अंजाम तक पहुंचाएंगे." AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने भी इस फैसले पर कोई आपत्ति नहीं जताई. उन्होंने कहा, "TTD एक हिंदू संस्था है और अगर वे गैर-हिंदू कर्मचारियों को हटाना चाहते हैं, तो हमें इसमें कोई समस्या नहीं है."

राज्य सरकार के हाथ में अंतिम निर्णय

TTD ने यह मामला अब राज्य सरकार के पास भेज दिया है और सरकार ही तय करेगी कि इन 18 कर्मचारियों का क्या किया जाएगा. अब देखना होगा कि सरकार इन कर्मचारियों को अन्य सरकारी विभागों में स्थानांतरित करती है या फिर उन्हें स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति का विकल्प देती है.