कश्मीर में हालात सुधरने से बौखलाया पाकिस्तान, आतंकियों को भारत में भेजने के प्रयास किये तेज
सीमा पर मुस्तैद बीएसएफ जवान | फाइल फोटो | (Photo Credits: PTI)

श्रीनगर: पाकिस्तान (Pakistan) ने केंद्र द्वारा अनुच्छेद 370 के अधिकतर प्रावधान समाप्त किये जाने के बाद घाटी में शांति एवं सौहार्द्र बिगाड़ने के लिए जम्मू कश्मीर में अधिक से अधिक संख्या में आतंकवादियों की घुसपैठ कराने के लिए प्रयास बढ़ा दिये हैं. यह जानकारी वरिष्ठ सुरक्षा अधिकारियों ने दी.

सेना की 15वीं कोर के जनरल आफिसर कमांडिंग लेफ्टनेंट जनरल केजेएस ढिल्लों ने यहां संवाददाताओं से कहा, ‘‘पाकिस्तान कश्मीर घाटी में अधिक से अधिक संख्या में आतंकवादियों की घुसपैठ कराना चाहता है, विशेष तौर पर पांच अगस्त के बाद से. हमने एक ऐसे ही प्रयास को विफल करते हुए लश्करे तैयबा के दो आतंकवादियों को जिंदा पकड़ लिया.’’

उन्होंने कहा कि पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में नियंत्रण रेखा से लगे क्षेत्रों में आतंकवादी शिविर सक्रिय हैं और पाकिस्तानी सेना आतंकवादियों को राज्य में घुसपैठ कराने में मदद कर रही है.

उन्होंने कहा, ‘‘पाकिस्तानी सेना आतंकवादियों की कश्मीर में घुसपैठ कराने में मदद कर रही है. जिन दो आतंकवादियों को नियंत्रण रेखा के पास अग्रिम चौकियों के पास जिंदा पकड़ा गया उन्हें भी पाकिस्तान सेना ने ही निर्देशित किया था.’’

उन्होंने इस दौरान एक संक्षिप्त वीडियो भी दिखाया जिसमें दोनों आतंकवादियों ने अपने नाम मोहम्मद खलील और मोहम्मद नाजिम बताये. वे पाकिस्तान के रावलपिंडी क्षेत्र के रहने वाले हैं.

दोनों ने स्वीकार किया कि उन्हें लश्कर और पाकिस्तान सैन्य कर्मियों ने प्रशिक्षित किया और उन्होंने अपने कई सहयोगियों के नाम भी बताये.

वीडियो में मोहम्मद नाजिम चाय पीते दिखा. पूछने पर लश्करे तैयबा के आतंकवादी ने कहा, ‘‘चाय अच्छी है.’’

नियंत्रण रेखा के पास गुलमर्ग सेक्टर में 21 अगस्त को पकड़े गए आतंकवादियों ने कहा कि घाटी में हमले करने के उद्देश्य से भारतीय क्षेत्र में उनकी घुसपैठ करायी गई.

लेफ्टिनेंट जनरल ढिल्लों ने कहा कि पाकिस्तानी सेना कश्मीर में आतंकवादियों की घुसपैठ कराने के दिन रात प्रयास कर रही है लेकिन इन प्रयासों से प्रभावी तरीके से निपटा जा रहा है.

उन्होंने कहा कि कश्मीर घाटी में आतंकवाद निरोधक अभियान चल रहे हैं और संचार पर पाबंदियों से इसमें कोई प्रभाव नहीं पड़ा है.

उन्होंने एक सवाल पर कहा, ‘‘हमने पिछले एक महीने के दौरान कई आतंकवादियों को मार गिराया है और कई को पकड़ लिया है. घाटी में अभियान प्रभावित नहीं हुए हैं.’’

उन्होंने कहा कि पिछले महीने नियंत्रण रेखा के पास पांच से सात पाकिस्तानी आतंकवादी और सैनिक मारे गए और भारतीय सेना के सैन्य अभियानों के महानिदेशक (डीजीएमओ) ने इस बारे में अपने पाकिस्तानी समकक्ष को बता दिया.

उन्होंने कहा, ‘‘डीजीएमओ ने पाकिस्तानी डीजीएमओ को सूचित किया कि हमारी हिरासत में दो पाकिस्तानी नागरिक हैं.’

लेफ्टिनेंट जनरल ढिल्लों ने कहा कि 12 मार्च से 30 जुलाई तक नियंत्रण रेखा पर संघर्षविराम में कोई उल्लंघन नहीं हुआ. पाकिस्तान ने उसके बाद नियंत्रण रेखा से लगे क्षेत्रों में कई दिनों तक बिना उकसावे के गोलीबारी करते हुए असैन्य क्षेत्रों को निशाना बनाया.

उन्होंने कहा, ‘‘इन संघर्षविराम उल्लंघनों का प्रभावी तरीके से जवाब दिया गया.’’

उन्होंने कहा कि पांच अगस्त के बाद नियंत्रण रेखा से लगे गुरेज सेक्टर में संघर्षविराम उल्लंघन के तीन से चार मामले हुए हैं.

इस मौके पर अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (कानून एवं व्यवस्था) मुनीर खान भी मौजूद थे. उन्होंने कहा कि नियंत्रण रेखा से घुसपैठ से सेना प्रभावी तरीके से निपट रही है जबकि सुरक्षा बल घाटी में शांति सुनिश्चित कर रहे हैं.

उन्होंने कहा, ‘‘हमारा प्राथमिक उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि कानून एवं व्यवस्था समस्या के दौरान किसी भी नागरिक की जान नहीं जाय. कानून एवं व्यवस्था की स्थितियों से निपटने के दौरान अभी तक किसी भी नागरिक की जान नहीं गई है.’’

उन्होंने कहा कि पिछले एक महीने के दौरान घाटी में स्थिति में काफी सुधार हुआ है और उम्मीद करते हैं कि चीजें आने वाले दिनों में सामान्य होंगी.