Mangaluru: पद्मासन स्थिति में 1 किलोमीटर तक इस शिक्षक ने समुद्र में की तैराकी, देखें तस्वीरें

बंतवाल तालुका के कलमनजा के एक सरकारी प्राथमिक स्कूल शिक्षक जिन्होंने एक किलोमीटर की दूरी तक अरब सागर में पद्मासन मुद्रा में तैरकर इंडिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में अपना नाम दर्ज कराने के लिए दृढ़ हैं. शुक्रवार 18 दिसंबर 2020 की सुबह 9 बजे, तनिरभवी बीच के पास अरब सागर में पद्मासन मुद्रा में एक किलोमीटर तैराकी की.

नागराज खारवी ने पद्मासन मुद्रा में समुद्र में की तैराकी, (फोटो क्रेडिट्स : ANI)

बंतवाल तालुका के कलमनजा के एक सरकारी प्राथमिक स्कूल शिक्षक जिन्होंने एक किलोमीटर की दूरी तक अरब सागर में पद्मासन मुद्रा में तैरकर इंडिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में अपना नाम दर्ज कराने के लिए दृढ़ हैं. शुक्रवार 18 दिसंबर 2020 की सुबह 9 बजे, तनिरभवी बीच (Tannirbhavi Beach) के पास अरब सागर में पद्मासन मुद्रा में एक किलोमीटर तैराकी की. नागराज खारवी, कंचुगोडु के कुंडापुर तालुक में गुज्जी गांव के मूल निवासी हैं. खारवी जब कक्षा तीसरी में थे तब उन्होंने तैराकी सीखी थी. खारवी श्री सत्य साई शैक्षणिक संस्थानों, अलाइक वे नौ वर्षों तक दक्षिण कन्नड़ में स्विमिंग ट्रेनर रहे. वर्तमान में वह पिछले साढ़े चार साल से सरकारी स्कूल में काम कर रहे हैं.

कुछ दिन पहले मंगलुरु प्रेस क्लब में मीडिया को संबोधित करते हुए, नागराज ने कहा, “जब मैं तीसरी कक्षा में था तब मैंने समुद्र में तैरना शुरू किया था. जब मैं अलाइक श्री सत्य साई शिक्षण संस्थानों में काम कर रहा था, तब मैं तैराकी का प्रशिक्षक था। मैंने नौ वर्षों तक कई छात्रों को प्रशिक्षित किया है. बाद में मैं कलमनजा के एक सरकारी स्कूल में एक शिक्षक के रूप में शामिल हो गया जहाँ प्रशिक्षक बी के नाइक ने मुझे तैराकी की विभिन्न शैलियों को सिखाया और मेरी शैली में कुछ सुधार किए. मैंने धर्मस्थल में भी योग सीखा है और राज्य स्तरीय योग प्रतियोगिता में भाग लिया है. मैंने अपनी तैराकी तकनीकों में सुधार बी.के. नाइक के अंडर किया है, जो सेरीकल्चर विभाग (Sericulture Department) के साथ एक निरीक्षक थे. यह भी पढ़ें: Uttar Pradesh: मेरठ के ज्वैलरी डिजाइनर हर्षित ने बनाया विश्व रिकॉर्ड, एक अंगूठी में जड़े 12,638 हीरे

देखें ट्वीट:

नागराज इंडिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में अपना नाम दर्ज कराना चाहते हैं. नागराज खारवी ने पिछले जनवरी में गुजरात के वडोदरा में आयोजित राष्ट्रीय स्तर की तैराकी प्रतियोगिता में दो स्वर्ण और एक कांस्य पदक जीते थे. वे तैराकी और योग के लाभों के बारे में जनता के बीच जागरूकता पैदा करना चाहते हैं.

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