गुडीपाडवा त्योहार को मराठी नववर्ष के रूप में भी जाना जाता है. पारंपारिक हिंदू लुनार कैलेंडर की शुरुवात गुडीपाडवा से होती है और महाराष्ट्र खासकर मुंबई में इस त्योहार को बड़े ही उत्साह के साथ धूमधाम से मनाया जाता है. मुंबई में गुडीपाडवा सबसे प्रमुख आकर्षण है, यहां की शोभायात्रा , इस शोभायात्रा में महाराष्ट्र की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत के दर्शन होते है.
क्या है गुडीपाडवा शोभायात्रा ?
गुडीपाडवा में एक भव्य शोभायात्रा निकाली जाती है, जिसमें पारंपारिक संगीत, नृत्य और डेकोरेशन के साथ -साथ महाराष्ट्र की संस्कृति के दर्शन होते है. इस शोभायात्रा में लोग पारंपरिक कपड़े पहनकर, हाथों में गुडी के साथ अन्य प्रतीकात्मक वस्तुएं लेकर पहुंचते है. लोग इस दिन सड़को पर रंगोली , घरों को इस दिन फूलों से सजाया जाता है और सभी तरफ खुशी का माहौल रहता है. यह भी पढ़े :Gudi Padwa 2024 Wishes: गुड़ी पड़वा की इन हिंदी WhatsApp Messages, Quotes, Facebook Greetings, Photo SMS के जरिए प्रियजनों को दें शुभकामनाएं
गुड़ीपाडवा शोभायात्रा का महत्व
मुंबई में गुड़ीपाडवा शोभा यात्रा न केवल एक सांस्कृतिक कार्यक्रम है, बल्कि एक धार्मिक कार्यकम भी है. ऐसा माना जाता है कि शोभायात्रा में शामिल होनेवाले लोगों के घर इसवर्ष आशीर्वाद और समृद्धि आती है. शोभायात्रा आमतौर पर एक मंदिर या सांस्कृतिक केंद्र से शुरू होती है और सड़कों से होकर गुजरती है, और एक चुने हुए स्थान पर एक भव्य उत्सव के साथ समाप्त होती है.
शोभायात्रा के अलावा, गुड़ीपाडवा मुंबई में कई अन्य उत्सवों के साथ मनाया जाता है.इस दिन घरों को साफ किया जाता है और रंगोली डिजाइन, फूलों और आम के पत्तों से सजाया जाता है.महाराष्ट्रियन पूरन पोली और श्रीखंड जैसी पारंपरिक मिठाइयाँ तैयार की जाती हैं और परिवार और दोस्तों के साथ साझा की जाती हैं. लोग गुडीपाडवा के इस नए साल में आशीर्वाद लेने के लिए मंदिरों में भी जाते हैं.
गुडीपाडवा की शोभायात्रा न केवल नए साल का जश्न है बल्कि महाराष्ट्र की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत का प्रदर्शन भी है. यह लोगों को एक साथ लाती है, सामुदायिक बंधनों को मजबूत करती है और महाराष्ट्र की परंपराओं और रीति-रिवाजों में गर्व की भावना को बढ़ावा देती है.चाहे आप मुंबई के निवासी हों या बाहरी, गुड़ीपाडवा की शोभायात्रा देखना एक ऐसा अनुभव है जो निश्चित रूप से आपको मन मोह लेगा.