चेन्नई, 14 सितंबर : वस्तु एवं कर सुधार (GST) कटौती का फायदा वास्तविक ग्राहकों को ट्रांसफर करना जरूरी है, अन्यथा मुनाफाखोरी से पूरी इंडस्ट्री को नुकसान हो सकता है. यह बयान रविवार को एक्सपर्ट की ओर से दिया गया. समाचार एजेंसी आईएएनएस से बातचीत करते हुए चार्टर्ड अकाउंटेंट टीजी सुरेश ने कहा, "कंपनियों को ग्राहकों को बनाए रखने के लिए जीएसटी कटौती का फायदा ट्रांसफर करना जरूरी है. अगर वह मुनाफाखोरी करती हैं तो इससे पूरी इंडस्ट्री को नुकसान होगा." सुरेश ने आगे कहा कि इस बार के बजट में सरकार ने इनकम टैक्स छूट की सीमा को बढ़ाकर 12 लाख रुपए करने का ऐलान किया था, जिससे लोगों के हाथ में पहले के मुकाबले अधिक पैसा बचेगा. वहीं, अब जीएसटी सुधार से वस्तुओं की कीमतें कम हो जाएंगी. इन दोनों के मिश्रण से लोगों की खर्च करने की क्षमता में काफी इजाफा होगा.
इसके अतिरिक्त, इन सुधारों से देश की अर्थव्यवस्था को तेजी से आगे बढ़ाने में भी मिलेगी और देश लंबे समय तक दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ती हुई अर्थव्यवस्था बना रहेगा. इससे पहले, ट्रेड एडं इंडस्ट्रीज एसोसिएशन के ज्वाइंट कॉन्क्लेव में लोगों को संबोधित करते हुए वित्त मंत्री निर्मला सीतारण ने कहा, "सरकार ने जीएसटी सुधार के तहत टैक्स स्लैब की संख्या को चार (5 प्रतिशत, 12 प्रतिशत, 18 प्रतिशत और 28 प्रतिशत) से घटाकर दो (5 प्रतिशत और 18 प्रतिशत) कर दिया गया है." यह भी पढ़े : India-Pakistan: ऑल इंडियन सिने वर्कर्स एसोसिएशन ने भारत-पाकिस्तान क्रिकेट मैच को तत्काल रद्द करने की मांग उठाई
वित्त मंत्री ने आगे कहा, "जब लोगों को लगा कि सरकार ज्यादा टैक्स लगा रही है तो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने टैक्स के बोझ को घटाने के लिए कदम उठाए. जीएसटी में कटौती का हमारे 140 करोड़ नागरिकों पर दूरगामी प्रभाव पड़ेगा. प्रधानमंत्री दिवाली से पहले देश को यह छूट देना चाहते थे, लेकिन हमें नवरात्रि से पहले ही इसकी घोषणा करते हुए बेहद खुशी हो रही है. यह सभी भारतीयों की जीत है." वित्त मंत्री ने कहा कि सरकार ने 18 प्रतिशत टैक्स स्लैब वाली 90 प्रतिशत वस्तुओं पर कर को घटाकर 5 प्रतिशत या शून्य कर दिया है. वहीं, सरकार ने 12 प्रतिशत टैक्स स्लैब वाली 99 प्रतिशत वस्तुओं पर कर को घटाकर 5 प्रतिशत कर दिया है. इससे लोगों पर कर का बोझ कम होगा.












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