नई दिल्ली: केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह (Amit Shah) ने मंगलवार को कहा कि नेशनल पॉपुलेशन रजिस्टर (एनपीआर) और राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (एनआरसी) का कोई संबंध नहीं है. एनपीआर देश में पहले भी हो चुका है. इससे लोगों को कोई तकलीफ नहीं है. साथ ही केंद्रीय मंत्री ने कहा कि एनपीआर का उपयोग एनआरसी में किसी भी तरीके से नहीं किया जाएगा. दोनों का उद्देश्य एक दूसरे से बिलकुल अलग है.
न्यूज़ एजेंसी एएनआई से बातचीत करते हुए गृहमंत्री अमित शाह ने कहा कि नागरिकता संशोधन अधिनियम (सीएए) से किसी की भी नागरिकता जाने का सवाल ही नहीं है. ये नागरिकता देने का कानून है. लोगों को इस पर भड़काया गया, जिसके कारण हिंसा हुई है. मोदी कैबिनेट ने भारत की जनगणना 2021 और NPR अपडेट करने की दी मंजूरी, इतने करोड़ रुपये होंगे खर्च
यहां देखें पूरा इंटरव्यू-
#WATCH Home Minister Amit Shah speaks to ANI on National Population Register, NRC/CAA and other issues. https://t.co/g4Wl8ldoVg
— ANI (@ANI) December 24, 2019
वहीं एनपीआर पर बात करते हुए अमित शाह ने कहा ‘मैं यह साफ करना चाहता हूं कि एनआरसी और एनपीआर में कोई संबंध नहीं है. एनपीआर का उपयोग विकास कार्य से जुड़ी योजनाओं को बनाने के लिए किया जाएगा. एनआरसी के लिए एनपीआर में ली गई जानकारियों का उपयोग नहीं किया जाएगा. लेकिन अल्पसंख्यकों को डराने के लिए कुछ लोग कोरी अफवाह फैला रहे है.
उन्होंने कहा ‘एनपीआर को लेकर कहीं पर भी देश के किसी भी नागरिक को मन में ये शंका लाने का कोई कारण नहीं है, खासकर अल्पसंख्यकों को. एनपीआर का उपयोग एनआरसी बनाने के लिए नहीं होगा. साथ ही उन्होंने कहा कि एनआरसी पर अभी चर्चा की कोई जरुरत नहीं.