मुजफ्फरपुर, 17 जुलाई : बिहार (Bihar) में गर्मी और उमस के बढ़ने के बाद मुजफ्फरपुर और आसपास के इलाकों में एक बार फिर से बच्चों में होने वाली एक्यूट इंसेलाइटिस सिंड्रोम (एईएस) रंग दिखाना शुरू कर दिया है. मुजफ्फरपुर श्रीकृष्ण मेमोरियल मेडिकल कॉलेज अस्पताल (एसकेएमसीएच) द्वारा जारी किए गए आंकड़ों के अनुसार, अब तक मुजफ्फरपुर और आसपास के जिले से एईएस के लक्षण वाले कुल 41 बच्चे भर्ती हुए जिसमें से 33 बच्चों एईएस पाया गया.
एसकेएमसीएच के शिशु रोग विभागाध्यक्ष जी एस सहनी ने शनिवार को बताया कि शिुशु वार्ड में चार बच्चों का इलाज हो रहा है, जिसमें तीन में एईएस की पुष्टि हुई है, जबकि एक मरीज संदिग्ध है. इसकी जांच रिपोर्ट अब तक नहीं आई है. शुक्रवार तक इस साल इस बीमारी से एसकेएमसीएच में मुजफ्फरपुर और आसपास के 41 बच्चे भर्ती हुए है. जिसमें से 9 बच्चों की मौत हो चुकी है. उल्लेखनीय है कि मुजफ्फरपुर और आसपास के इलाके में जैसे ही गर्मी और उमस बढ़ती है, वैसे ही इस बीमारी से बच्चे ग्रसित होने लगते है. प्रतिवर्ष इस बीमारी से बच्चों की मौत होती है. यह भी पढ़ें : Uttar Pradesh Shocker: कानपुर में मासूम बच्ची की हत्या के आरोप में महिला का प्रेमी गिरफ्तार
मुजफ्फरपुर जिले में खासकर मीनापुर, कांटी, मुसहरी और पारू प्रखंड के कई गांवों में इस बीमारी ने लोगों को खासा परेशान किया है . इसके इलाज के लिए स्वास्थ्य विभाग के द्वारा मुजफ्फरपुर में स्पेशल वार्ड बनाया गया है जहां डक्टरों की देख रेख में इसका इलाज किया जाता है. जिला प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग द्वारा समय-समय पर ग्रामीणों क्षेत्रों में जागरूकता अभियान भी चलाया जाता है, लेकिन आजतक इस बीमारी से निजात दिलाने में सफलता नही मिली है. राहत की बात है कि इस साल इस बीमारी के कम मरीज सामने आए हैं.