उज्जैन, 21 फरवरी राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ (आरएसएस) प्रमुख मोहन भागवत ने सोमवार को संघ के मालवा प्रांत में काम की समीक्षा की और स्वयंसेवकों से पर्यावरण सुधार और सामाजिक सद्भाव को बढ़ावा देने पर ध्यान देने को कहा।
भागवत 19 फरवरी को बैठक में शामिल होने उज्जैन पहुंचे थे। सोमवार तड़के आरएसएस प्रमुख ने यहां प्रसिद्ध महाकालेश्वर मंदिर में पूजा अर्चना की।
संघ के एक पदाधिकारी ने बताया कि सर संघचालक ने संघ कार्यकर्ताओं के साथ बातचीत के दौरान पर्यावरण सुधार, सामाजिक सद्भाव और समानता को बढ़ावा देने, परिवार व्यवस्था व उसके मूल्यों को बढ़ावा देने पर ध्यान केंद्रित करने को कहा।
संघ के सूत्रों ने बताया कि भागवत ने संगठन के पदाधिकारियों को 2025 तक मालवा प्रांत में काम को दो गुना करने को कहा है। 2025 में संघ की स्थापना के 100 वर्ष पूरे हो जाएंगे।
उन्होंने कहा कि भागवत ने आरएसएस के पदाधिकारियों से संघ के सामाजिक कार्यो को बढ़ाने के लिए कहा। ये कार्य कोविड-19 महामारी से प्रभावित हुए थे।
आरएसएस के मालवा प्रांत में 28 जिले शामिल हैं। यहां संघ का खासा प्रभाव है। एक अन्य पदाधिकारी ने कहा कि मालवा प्रांत उन कुछ क्षेत्रों में शामिल है जहां आरएसएस की जागरण पत्रिका हर गांव में पहुंचती है।
भागवत के महाकालेश्वर मंदिर में दर्शन के दौरान कुछ श्रद्धालुओं ने असुविधा होने की शिकायत की। मुंबई से आई एक श्रद्धालु ने कहा कि संघ प्रमुख की सुरक्षा प्रोटोकॉल के कारण उन्हें दर्शन के लिए कई घंटे कतार में लगना पड़ा।
भागवत उज्जैन में इस्कॉन मंदिर के परिसर में ठहरे हुए हैं जहां आरएसएस पदाधिकारियों की बैठक हो रही है।
वह मंगलवार शाम को रवाना होंगे।
(यह सिंडिकेटेड न्यूज़ फीड से अनएडिटेड और ऑटो-जेनरेटेड स्टोरी है, ऐसी संभावना है कि लेटेस्टली स्टाफ द्वारा इसमें कोई बदलाव या एडिट नहीं किया गया है)