नयी दिल्ली, 3 फरवरी: वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने शनिवार को कहा कि उद्योग को उत्पादन से जुड़े प्रोत्साहन (पीएलआई) योजना को प्रारंभिक समर्थन के रूप में देखना चाहिए, क्योंकि उद्योग के लिए आगे चलकर प्रतिस्पर्धा ही अहम होगी. उन्होंने पीएलआई प्रोत्साहन का लाभ पाने वाली कंपनियों से "योजना के बेहतर कार्यान्वयन के लिए रचनात्मक आलोचना और प्रतिक्रिया" साझा करने को कहा.
उन्होंने कहा, '' यह विचार भारत को विनिर्माण महाशक्ति बनाने का है और आगे एक लंबी यात्रा तय करनी है.'' सरकारी अधिकारियों और उद्योग जगत के प्रतिनिधियों सहित 1,200 से अधिक हितधारक यहां 14 पीएलआई योजनाओं की प्रगति पर विचार-विमर्श कर रहे हैं.
गोयल ने कहा, “इन प्रोत्साहनों को बैसाखी के रूप में नहीं देखा जाना चाहिए और हम आपको सरकारी सब्सिडी पर निर्भर नहीं बनाना चाहते हैं.
यह केवल एक शुरुआत की तरह है.” उन्होंने कहा कि पीएलआई योजना केवल आपको शुरुआत में थोड़ा सा बढ़ावा देने के लिए है और कृपया इसे प्रारंभिक समर्थन के रूप में देखें, (क्योंकि) आगे चलकर प्रतिस्पर्धा ही अहम होगी.'' उन्होंने कहा, “हमें अंततः एक-दूसरे के साथ और दुनिया के साथ प्रतिस्पर्धा करनी होगी.”
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