नयी दिल्ली, 12 जुलाई दिल्ली में लगातार दूसरे दिन रविवार को कोविड-19 के मामलों की संख्या दो हजार से कम बनी रही और स्वस्थ होने की दर सुधर कर लगभग 80 प्रतिशत हो गई।
वहीं दिल्ली प्रशासन ने यहां कोरोना वायरस के मरीजों के उपचार के बाद स्वस्थ होने की अच्छी दर के मद्देनजर स्टेडियमों को अस्थायी कोविड देखभाल केंद्रों के रूप में इस्तेमाल में लाने की योजना फिलहाल स्थगित कर दी है।
राष्ट्रीय राजधानी में पिछले 24 घंटे में कोरोना वायरस संक्रमण के 1,573 नये मामले सामने आए, जिससे मामलों की संख्या बढ़कर 1,12,494 हो गयी, जबकि इस बीमारी से मरने वालों की संख्या 3,371 पहुंच गई। दिल्ली स्वास्थ्य विभाग के एक बुलेटिन में यह जानकारी दी गई है।
जुलाई में पहली बार लगातार दो दिनों तक राजधानी में संक्रमण के 2,000 से कम मामले सामने आए हैं। शनिवार को संक्रमण के 1,781 नए मामले सामने आए थे।
बुलेटिन के अनुसार रविवार को कोविड-19 से स्वस्थ होने की दर 79.97 प्रतिशत हो गई।
मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने पल्स ऑक्सीमीटर को ‘सुरक्षा कवच’ करार देते हुए कहा कि इसने दिल्ली में घरों में पृथक-वास में रह रहे कोविड-19 के मरीजों की मौत की संख्या कम करने में मदद पहुंचायी है।
बुलेटिन के मुताबिक अब तक कुल 89,968 मरीज संक्रमण से ठीक हो चुके हैं। फिलहाल 19,155 मरीज उपचाराधीन हैं।
दिल्ली सरकार ने सभी जिलाधिकारियों (डीएम) से अपने-अपने क्षेत्रों में कोविड-19 से निपटने के लिए किए गए उपायों का दस्तावेजीकरण करने के लिए कहा है। इसका उद्देश्य संक्रमण को नियंत्रित करने के प्रयासों को दर्शाना है।
उदाहरण के लिए, दक्षिण दिल्ली जिला प्रशासन ने राधा स्वामी सत्संग ब्यास में 10,000 बिस्तरों का सरदार पटेल कोविड देखभाल केंद्र स्थापित किया है, जो कोविड-19 के मरीजों के लिए बनाए गए दुनिया के "सबसे बड़े" स्वास्थ्य सुविधा केंद्रों में शामिल है। इस केंद्र को स्थापित करने के लिए इसने कई एजेंसियों से संपर्क किया।
इसी तरह, पूर्वी दिल्ली में राष्ट्रमंडल खेल गांव में 500 बिस्तरों वाला कोविड देखभाल केंद्र बनाया गया। इसके अलावा, उत्तर पश्चिम जिले में रेलवे कोच को कोविड-19 रोगियों के लिए पृथक-वास वार्ड में बदला गया है।
एक अधिकारी ने ‘पीटीआई-’ को बताया, "सभी डीएम को कोविड-19 स्थिति से निपटने के लिए उनके द्वारा शुरू की गई इन पहलों का उचित दस्तावेजीकरण करने के लिए कहा गया है।"
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