नयी दिल्ली, 14 मार्च इंजीनियरिंग, पेट्रोलियम और रसायन जैसे क्षेत्रों के बेहतर प्रदर्शन से देश का वस्तुओं का निर्यात फरवरी में 25.1 प्रतिशत बढ़कर 34.57 अरब डॉलर पर पहुंच गया। इस दौरान व्यापार घाटा भी बढ़कर 20.88 अरब डॉलर रहा।
वाणिज्य मंत्रालय के सोमवार को जारी आंकड़ों के अनुसार, आलोच्य महीने में आयात 36 प्रतिशत बढ़कर 55.45 अरब डॉलर रहा, जिसमें पेट्रोलियम और कच्चे तेल का आयात 69 प्रतिशत बढ़कर 15.28 अरब डॉलर हो गया।
फरवरी, 2021 में व्यापार घाटा 13.12 अरब डॉलर था।
मंत्रालय के अनुसार, कुल मिलाकर निर्यात चालू वित्त वर्ष 2021-22 के पहले 11 माह (अप्रैल-फरवरी) के दौरान 46.09 प्रतिशत बढ़कर 374.81 अरब डॉलर पर पहुंच गया है। एक साल पहले इसी अवधि में यह 256.55 अरब डॉलर था।
आलोच्य अवधि में आयात 59.33 प्रतिशत बढ़कर 550.56 अरब डॉलर रहा। वहीं व्यापार घाटा 175.75 अरब डॉलर रहा जो इससे पिछले वित्त वर्ष की समान अवधि में 88.99 अरब डॉलर था।
आंकड़ों के अनुसार, फरवरी में सोने का आयात 9.65 प्रतिशत घटकर 4.8 अरब डॉलर रह गया। वहीं इलेक्ट्रॉनिक्स उत्पादों का आयात 29.53 प्रतिशत बढ़कर 6.27 अरब डॉलर पर पहुंच गया।
फरवरी, 2022 में इंजीनियरिंग सामान का निर्यात 32 प्रतिशत बढ़कर 9.32 अरब डॉलर पर और पेट्रोलियम का निर्यात 88.14 प्रतिशत बढ़कर 4.64 अरब डॉलर पर पहुंच गया। रसायनों का निर्यात 25.38 प्रतिशत की बढ़ोतरी के साथ 2.4 अरब डॉलर रहा।
हालांकि, फार्मास्युटिकल्स निर्यात 1.78 प्रतिशत घटकर 1.96 अरब डॉलर रह गया।
इक्रा की मुख्य अर्थशास्त्री अदिति नायर ने कहा कि जिंसों के ऊंचे दाम मार्च, 2022 में आयात को प्रभावित करेंगे, वहीं कच्चे तेल के आयात की मात्रा कुल व्यापार घाटे की दृष्टि से महत्वपूर्ण रहेगी। ‘‘हमारा मानना है कि चालू महीने में व्यापार घाटा 20 अरब डॉलर से अधिक रहेगा।’’
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