अदालत यहां स्थित अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान में 2016 में एक सुरक्षा कर्मी पर कथित हमले से संबंधित मामले की सुनवाई कर रही थी।
भारती फिलहाल उत्तर प्रदेश के सुल्तानपुर जिले की एक जेल में बंद हैं। उन्हें उनकी कथित टिप्पणी के लिए भारतीय दंड संहिता की धारा 505 और 153 के तहत गिरफ्तार किया गया है।
अतिरिक्त मुख्य मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट रवींद्र कुमार पांडे ने 14 जनवरी को भारती के खिलाफ पेशी वारंट जारी किया था। इससे पहले आरोपी के वकील मोहम्मद इरशाद ने अदालत में उनकी ओर से आवेदन दाखिल कर बताया था कि वह उत्तर प्रदेश की जेल में बंद हैं और उन्हें पेशी से छूट दी जाए।
एक अदालत ने इस मामले में भारती को जमानत दे दी थी।
अदालत ने कहा कि मौजूदा मामला फैसला सुनाए जाने के चरण में है और न्यायाधीश के समक्ष भारती की मौजूदगी जरूरी है।
न्यायाधीश ने कहा कि संबंधित पुलिस उपायुक्त एक विशेष संदेशवाहक के जरिए उस जेल के संबंधित अधीक्षक को पेशी वारंट पहुंचाएगा जहां आरोपी फिलहाल बंद हैं, क्योंकि मामले की अगली सुनवाई 18 जनवरी 2021 को है।
न्यायाधीश ने कहा, “ संबंधित जेल अधीक्षक को निर्देश दिया जाता है कि वह आरोपी सोमनाथ भारती को सुनवाई की अगली तारीख पर पेश करें और इसमें नाकाम न रहें। “
भारती और अन्य के खिलाफ दंगा करने, सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाने और लोक सेवक को ड्यूटी करने से रोकने के आरोप में मामला दर्ज है।
एम्स के मुख्य सुरक्षा अधिकारी की शिकायत पर नौ सितंबर 2016 को मामला दर्ज किया गया था।
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