Ramadan 2020: कोरोना वायरस (Coronavirus) को लेकर दूसरे अन्य देशों की तरह सऊदी अरब (Saudi Arabia) भी इस महामारी की चपेट में है. ऐसे में इस महामारी से बचने को लेकर अगले हफ्ते से शुरू होने वाले रमजान के महीने में लोगों से ‘तरावीह’ (Taraweeh) की नमाज के साथ ही ईद (EID) की नमाज को भी घर पर ही पढ़ने को लेकर अपील की गई है. ताकि सऊदी में कोरोना वायरस को फैलने से रोका जा सके. घरों में नमाज पढ़ने को लेकर यह अपील सऊदी अरब के ग्रैंड मुफ्ती शेख अब्दुल अजीज बिन अब्दुल्ला अल अल-शेख (Sheikh Abdulaziz Al al-Sheikh) की तरफ से की गई है.
सऊदी अरब के ग्रैंड ने कहा है कि इस महामारी को देखते हुए सऊदी अरब के सभी लोगों से इस साल अपील की जाती कि वे इस बार तरावीह और ईद की नमाज अपने घरों पर ही पड़े. ताकि इस बीमारी को फैलने से रोका जा सके और लोगों के जान बचाई जा सके. दरअसल इस बीमारी को लेकर सऊदी अरब ने पिछले महीने देश की सभी मस्जिदों में इकट्ठा होकर नमाज पढ़ने पर रोक लगा दी थी. केवल मक्का और मदीना की मस्जिदों में नमाज पढ़ने को लेकर इजाजत है वह भी सिर्फ मस्जिद के इमाम के साथ ही एक दो अन्य लोग जो मस्जिद के स्टॉफ हैं. जो मस्जिद में ही रहते हैं. यह भी पढ़े: कोरोना संकट के बीच मुख्तार अब्बास नकवी ने मुस्लिम समाज से की सोशल डिस्टेंसिंग की अपील, कहा- रमजान में घरों से ही करें इबादत
सऊदी अरब में 23 अप्रैल या फिर 24 अप्रैल को चांद दिखने के बाद वहां पर रोजा शुरू होने वाला है. जो कि होता है कि रमजान का चांद दिखने के बाद इस्लाम धर्म मेंएक महीने ईशा की नमाज के बाद 29 दिन तक तरावीह पढ़ी (अदा की) जाती है. चांद दिखने के बाद 30 वें दिन ईद की नमाज पड़ी जाती है. जो इस बार दोनों नमाज सऊदी के लोगों के इतिहास में होगा कि कोरोना वायरस के चलते एक साथ पढ़ने को नहीं मिलेंगी.
सऊदी अरब में कोरोना वायरस के अब तक 7,142 मामले पाए गए हैं. वहीं इन लोगों में 1,049 लोग ठीक भी हुए हैं. तो 87 लोगों की जान भी गई है. सऊदी सरकार ने वायरस से लड़ने को लेकर वित्तीय सहायता के रूप में 15 बिलियन सऊदी रियाल (लगभग $ 3.99 बिलियन) घोषणा की हैं. जिन पैसों का इस्तेमला स्वास्थ्य क्षेत्र में दवाएं कम ना हो, अतिरिक्त बेड संचालित करने, वेंटिलेटर आदि चीजों के खर्च के लिए किया जाएगा.