इस्लामाबाद: मोदी सरकार तीन तलाक पर पूरी तरह से रोक लगाने के लिए लोकसभा में गुरुवार को ट्रिपल तलाक विधेयक (Triple Talaq Bill) पेश करने जा रही है. इस बीच पाकिस्तान (Pakistan) के पेशावर हाईकोर्ट (Peshawar High Court) में एक वकील ने सुनवाई के दौरान दलील दी कि पाकिस्तानी पुरुषों को फिर से शादी (Marriage) करने से पहले अपनी पहली पत्नी से परमिशन लेना जरुरी है.
पाकिस्तानी न्यूज चैनल समा टीवी (Samaa TV) की रिपोर्ट के मुताबिक पेशावर हाईकोर्ट में मंगलवार को सुनवाई के दौरान वकील ने जज से कहा कि नए कानून के तहत एक आदमी अपनी बीवी के बिना अनुमति के दूसरी शादी नहीं कर सकता है. दरअसल एक महिला ने कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था और कहा था कि उसके पति ने उसकी अनुमति के बिना दूसरी महिला से शादी कर ली है.
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इस मामलें की सुनवाई करते हुए जस्टिस इकरामुल्लाह खान (Justice Ikramullah Khan) ने महिला के वकील से पूछा कि कौन सी किताब कहती है कि एक आदमी को अपनी पत्नी की अनुमति लेनी होगी. जिसके जवाब में वकील ने कहा कि मुस्लिम परिवार कानून अध्यादेश, 1961 की धारा 6 (5) में के तहत पुरुष को दूसरी महिला से शादी करने से पहले अपनी पहली पत्नी से लिखित अनुमति लेना आवश्यक है. अगर कोई इस कानून का उल्लंघन करने का दोषी पाया जाता है, तो उसे एक साल तक जेल हो सकती है.
वकील के जवाब के बाद कोर्ट ने महिला के पति को मामले में अपना जवाब देने का आदेश देते हुए सुनवाई स्थगित कर दी. 15 जुलाई को लाहौर की एक अदालत ने पहली पत्नी की अनुमति के बिना दूसरी शादी करने के लिए पति को 11 महीने जेल की सजा सुनाई और साथ ही 250,000 रुपये का जुर्माना भी लगाया.