
ईरान और इज़रायल के बीच तनाव खतरनाक स्तर पर पहुँच गया है. दोनों देश एक-दूसरे पर लगातार हमले कर रहे हैं, जिससे पूरी दुनिया में चिंता का माहौल है. आइए, आसान भाषा में समझते हैं कि आखिर हो क्या रहा है.
ईरान ने इज़रायल पर किया बड़ा हमला
ताजा घटना में ईरान ने इज़रायल की राजधानी तेल अवीव पर बैलिस्टिक मिसाइलों और रॉकेटों से जोरदार हमला किया. इस हमले के बाद पूरे सेंट्रल इज़रायल में खतरे के सायरन बजने लगे और आसमान में धमाकों की आवाज़ गूंज उठी.
क्या हुआ: ईरान ने एक के बाद एक कई रॉकेट दागे
इज़रायल का बचाव: इज़रायल के मिसाइल डिफेंस सिस्टम (जिसे हवाई सुरक्षा कवच भी कह सकते हैं) ने कई मिसाइलों को हवा में ही नष्ट कर दिया.
नुकसान: ईरानी हमले से मध्य इज़रायल में एक चार मंजिला इमारत की छत पर आग लग गई. इसके अलावा, हाइफा शहर में एक पुरानी मस्जिद और पास की एक सरकारी इमारत को भी नुकसान पहुंचा है. इन हमलों में कम से कम दो लोगों के घायल होने की खबर है. ईरानी सेना का कहना है कि उन्होंने लंबी दूरी की भारी मिसाइलों से इज़रायल के सैन्य ठिकानों और कमांड सेंटरों को निशाना बनाया है.
इज़रायल का करारा जवाब
ईरान के हमलों के जवाब में इज़रायल भी चुप नहीं बैठा है और लगातार पलटवार कर रहा है.
बड़ा दावा: इज़रायली वायुसेना ने ईरान के एक बड़े कमांडर, अमीनपुर जौदकी को मार गिराने का दावा किया है. जौदकी ईरान के ड्रोन (UAV) हमलों का एक अहम हिस्सा था.
अन्य हमले: इज़रायल ने पश्चिमी ईरान में उस जगह पर भी हमला किया, जहाँ से मिसाइलें लॉन्च की जा रही थीं. इसके अलावा, दक्षिण-पश्चिमी ईरान में भी इज़रायली लड़ाकू विमानों ने हमला किया, जिसमें कम से कम चार लोगों के मारे जाने की खबर है. इज़रायल का कहना है कि उसका मकसद ईरान की हवाई ताकत को कमजोर करना है.
सबसे बड़ी चिंता: परमाणु ठिकानों पर हमला
इस लड़ाई में सबसे खतरनाक मोड़ तब आया, जब ईरान के इस्फहान शहर में धमाकों की आवाज़ सुनी गई. इस्फहान वही जगह है, जहां ईरान का एक बहुत बड़ा परमाणु रिसर्च सेंटर है. खबरों के मुताबिक, इज़रायल ने इस शहर पर मिसाइलों से हमला किया है. यह घटना बहुत गंभीर है क्योंकि इससे परमाणु युद्ध का खतरा बढ़ सकता है.
क्या है दोनों देशों का कहना?
इज़रायल: संयुक्त राष्ट्र में इज़रायल ने साफ कर दिया है कि वह अपने हमले तब तक नहीं रोकेगा, जब तक "ईरान का परमाणु खतरा" खत्म नहीं हो जाता. इज़रायल को डर है कि ईरान परमाणु बम बना रहा है.
ईरान: ईरान का कहना है कि उसका परमाणु कार्यक्रम शांतिपूर्ण कामों के लिए है. ईरान ने संयुक्त राष्ट्र से इस मामले में दखल देने की अपील की है. ईरान ने यह भी कहा है कि वह यूरेनियम संवर्धन (Uranium Enrichment) पर बातचीत के लिए तैयार है, लेकिन इसे पूरी तरह से बंद करने की शर्त कभी नहीं मानेगा, खासकर तब जब उस पर हमले हो रहे हैं.
इस बीच, अमेरिका के इस युद्ध में शामिल होने की भी अटकलें हैं, जिससे ईरान की चिंता और बढ़ गई है. कुल मिलाकर, स्थिति बहुत नाजुक है और दोनों देशों के बीच यह टकराव एक बड़े युद्ध का रूप ले सकता है, जिस पर पूरी दुनिया की नज़रें टिकी हुई हैं.