Aditya L-1 Mission: आदित्य एल-1 मिशन पर इसरो प्रमुख एस सोमनाथ का कहना है, "आदित्य एल1 का एल1 पॉइंट इंसर्शन 6 जनवरी 2024 को किया जाएगा लेकिन समय अभी तय नहीं किया गया है." भारत का एक लौता सोलर आदित्य L1 (Aditya L1) आगामी 6 जनवरी को यानी की तय की जगह लैग्रेंज पॉइंट पर पहुंच गया. बता दें की यह जगह पृथ्वी से 15 किलोमीटर दूर स्थिति है. इस मिशन को सूर्य के अध्ययन के लिए खास तौर पर लॉन्च किया गया है.

लैग्रेंज पॉइंट प्वाइंट (Lagrange Point). यानी L. यह नाम गणितज्ञ जोसेफी-लुई लैरेंज के नाम पर दिया गया है. इन्होंने ही इन लैरेंज प्वाइंट्स को खोजा था. जब किसी दो घूमते हुए अंतरिक्षीय वस्तुओं के बीच ग्रैविटी का एक ऐसा प्वाइंट आता है, जहां पर कोई भी वस्तु या सैटेलाइट दोनों ग्रहों या तारों की गुरुत्वाकर्षण से बचा रहता है.

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आदित्य-L1 के मामले में यह धरती और सूरज दोनों की गुरुत्वाकर्षण शक्ति से बचा रहेगा. लॉन्च के बाद आदित्य 16 दिनों तक धरती के चारों तरफ चक्कर लगाएगा. इस दौरान पांच बार ऑर्बिट बदला जाएगा. ताकि सही गति मिले. फिर आदित्य का ट्रांस-लैरेंजियन 1 इंसर्शन होगा. यहां से शुरू होगी 109 दिन की लंबी यात्रा. जैसे ही आदित्य-L1 पर पहुंचेगा, वह वहां पर एक ऑर्बिट मैन्यूवर करेगा. ताकि L1 प्वाइंट के चारों तरफ चक्कर लगा सके.

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