Hindi Diwas 2022: दुनिया में चौथी और भारत की नंबर-1 बोली जानेवाली हिंदी भाषा को भले ही राष्ट्रभाषा का अधिकार ना मिला हो, भले ही राजभाषा का अधिकार देकर उसके ऊपर अंग्रेजी को बिठा दिया गया हो, लेकिन मातृभाषा के रूप में हिंदी की सर्वत्र सराहना एवं सम्मान मिल रहा है. पिछले कुछ वर्षों से दुनिया के अधिकांश देशों में हिंदी ने लोगों को आकर्षित किया है. यह हिंदी भाषा का ही जादू था कि प्रवासी भारतीय ही नहीं बल्कि विदेशी भी भारतीय अध्यात्म एवं योग पर निष्ठा एवं आस्था दर्शाते रहे हैं, जिसका श्रेय केवल हिंदी को जाता है. 14 सितंबर को राष्ट्रीय हिंदी दिवस के अवसर पर प्रस्तुत है, हिंदी से जुड़े 10 ऐसे रोचक तथ्य, जिन्हें जानकर कोई भी हिंदी-प्रेमी गौरवान्वित होगा. यह भी पढ़ें: Hindi Diwas 2022: कब और क्यों मनाते हैं राष्ट्रीय हिंदी दिवस? क्यों हिंदी को नहीं मिला राष्ट्रभाषा का दर्जा? जानें हिंदी दिवस और विश्व हिंदी दिवस में फर्क!
* अंग्रेजी में ऐसे सैकड़ों नाम हैं, जो उन्होंने हिंदी से उधार लिया है. उदाहरण के लिए अवतार, बंगला, गुरू, जंगल, खाकी, कर्म, लूट, मंत्र, निर्वाण, पंच, पजामा, शरबत, शैम्पू, ठग, आंधी, और योग
* हिंदी को उसका नाम फारसी शब्द हिंद से मिला है, जिसका अर्थ है सिंधु नदी की भूमि (land of the Indus River)
* हिंदी दुनिया में पांचवी सबसे अधिक बोली जाने वाली भाषा है, प्राप्त आंकड़ों के अनुसार हिंदी विश्व भर में 366 मिलियन लोगों द्वारा बोली जाती है
* 14 सितंबर 1949 वह दिन था, जब भारत की संविधान सभा ने देवनागरी लिपि में लिखी गई हिंदी को भारत की आधिकारिक भाषाओं में से एक के रूप में स्वीकार किया गया. जब पहला हिंदी दिवस 14 सितंबर 1953 को मनाया गया. और इस दिन को आधिकारिक रूप से मान्यता दी गई थी.
* 26 जनवरी 1950 को संविधान के अनुच्छेद 343 में हिंदी को आधिकारिक भाषा के रूप में मान्यता दी गई थी.
* साल 1881 में, बिहार ने हिंदी को अपनी आधिकारिक राज्य भाषा का रूप दिया, इस तरह आधिकारिक तौर पर भाषा को अपनाने वाला बिहार पहला भारतीय राज्य बना.
* हिंदी भाषा का जादू अमेरिका, ब्रिटेन, जर्मनी, न्यूजीलैंड, त्रिनिदाद, मॉरीशस, संयुक्त अरब अमीरात, टोबैगो, सुरीनाम, गुयाना, नेपाल, पाकिस्तान, बांग्लादेश आदि देशों में सर चढ़ कर बोलता है.
* ऑक्सफोर्ड डिक्शनरी में सूर्य नमस्कार, अच्छा, बापू, जुगाड़, बापू, मिर्च, बड़ा दिन जैसे तमाम हिंदी शब्दों का इस्तेमाल किया जाता है. बताया जाता है कि ऑक्सफोर्ड डिक्शनरी में प्रत्येक वर्ष हिंदी के कोई ना कोई शब्द अवश्य शामिल करता है.
* हिंदी वर्णमाला के प्रत्येक अक्षर की अपनी स्वतंत्र और विशिष्ट ध्वनि होती है, परिणामस्वरूप, हिंदी शब्दों का उच्चारण ठीक वैसे ही किया जाता है जैसे वे लिखे जाते हैं, जिससे हिंदी भाषा सीखना आसान हो जाता है.
साल 1977 में संयुक्त राष्ट्र संघ में अंतरराष्ट्रीय मंच पर पहली बार बतौर विदेश मंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने हिंदी में भाषण देकर सबसे ज्यादा तालियां बटोरी थी. यूएन में आये सभी प्रतिनिधियों ने खड़े होकर तालियां बजाकर हिंदी में भाषण के लिए वाजपेयी जी की सराहना की थी.