Balaram Jayanti 2021 Wishes: बलराम जयंती पर इन मनमोहक WhatsApp Stickers, Facebook Messages, GIF Greetings, HD Images, Wallpapers के जरिए दें शुभकामनाएं

श्रीकृष्ण के बड़े भाई बलराम को बलदेव, बलभद्र, हलधर और हलयुध जैसे विभिन्न नामों से जाना जाता है. बलराम जयंती के खास अवसर पर लोग एक-दूसरे को शुभकामना संदेश भेजकर बधाई देते हैं. आप भी हल षष्ठी के मौके पर इन मनमोहक विशेज, वॉट्सऐप स्टिकर्स, फेसबुक मैसेजेस, जीआईएफ ग्रीटिंग्स, एचडी इमेजेस और वॉलपेपर्स के जरिए शुभकामनाएं दे सकते हैं.

बलराम जयंती 2021 (Photo Credits: File Image)

Balaram Jayanti 2021 Wishes in Hindi: हिंदू पंचांग के अनुसार, भाद्रपद मास के कृष्ण पक्ष की षष्ठी तिथि को बलराम जयंती (Balaram Jayanti) मनाई जाती है, जिसे हल षष्ठी (Hal Shashthi) के नाम से भी जाना जाता है. पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, इसी मास के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को भगवान विष्णु (Lord Vishnu) ने श्रीकृष्ण (Shri Krishna) के रूप में आठवां अवतार लिया था, लेकिन उससे दो दिन पहले उनके शेषावतार ने बलराम (Balaram) के रूप में अवतार लिया था. बलराम जी को हलधर यानी हल धारण करने वाला माना जाता है, इसलिए उनके जन्मोत्सव को हल षष्ठी के नाम से जाना जाता है. इस दिन हल की जुताई से उगे हुए अनाज नहीं खाए जाते हैं. इस साल बलराम जयंती 28 अगस्त (शनिवार) को मनाई जा रही है.

श्रीकृष्ण के बड़े भाई बलराम को बलदेव, बलभद्र, हलधर और हलयुध जैसे विभिन्न नामों से जाना जाता है. बलराम जयंती के खास अवसर पर लोग एक-दूसरे को शुभकामना संदेश भेजकर बधाई देते हैं. आप भी हल षष्ठी के मौके पर इन मनमोहक विशेज, वॉट्सऐप स्टिकर्स, फेसबुक मैसेजेस, जीआईएफ ग्रीटिंग्स, एचडी इमेजेस और वॉलपेपर्स के जरिए शुभकामनाएं दे सकते हैं.

1- भगवान श्री कृष्ण के ज्येष्ठ भ्राता बलराम जी की जयंती की बधाई

बलराम जयंती 2021 (Photo Credits: File Image)

2- बलराम जयंती की हार्दिक बधाई

बलराम जयंती 2021 (Photo Credits: File Image)

3- बलराम जयंती की शुभकामनाएं

बलराम जयंती 2021 (Photo Credits: File Image)

4- हल षष्ठी की आपको और आपके परिवार को शुभकामनाएं

बलराम जयंती 2021 (Photo Credits: File Image)

5- बलराम जयंती व हल षष्ठी की बधाई

बलराम जयंती 2021 (Photo Credits: File Image)

भागवत पुराण के अनुसार, बलराम को शेषनाग का अवतार माना जाता है, जो भगवान विष्णु के हर अवतार में उनके साथ धरती पर अवश्य आते हैं. द्वापर युग में शेषनाग ने भगवान विष्णु के आठवें अवतार श्रीकृष्ण के बड़े भाई बलराम के रूप में अवतार लिया था. इस दिन पुत्रवती महिलाएं अपने पुत्रों की दीर्घायु और खुशहाली के लिए निर्जल व्रत रखती हैं और विधि-विधान से पूजन करती हैं. इस व्रत को करने से जीवन में सुख-शांति और समृद्धि का आगमन होता है.

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