
Khatu Shyam Mandir: हमारे देश में लाखों मंदिर हैं, जो लोगों की आस्था और विश्वास के प्रतीक हैं. इन तमाम मंदिरों से कोई न कोई कथा, रहस्य और चमत्कार जुड़े हुए हैं. देश के इन्ही तमाम मंदिरों में ऐसा ही एक चमत्कारी और रहस्यमयी मंदिर है खाटू श्याम मंदिर, जो राजस्थान के सीकर जिले में स्थित है. लोगों की ऐसी मान्यता है कि खाटू श्याम बाबा के दर्शन मात्र से भक्तों के जीवन की सभी परेशानियां दूर हो जाती हैं. दरअसल, खाटू श्याम को महाभारत काल के योद्धा बर्बरीक के रूप में जाना जाता है, जो भीम के पोते और घतोत्कच के पुत्र थे. कहा जाता है कि जब महाभारत का युद्ध होने वाला था, तब भगवान श्रीकृष्ण ने युद्ध की निष्पक्षता को बनाए रखने के लिए बर्बरीक से उनका शीश मांग लिया था. श्रीकृष्ण के कहने पर बर्बरीक ने हंसते हुए अपना शीश उन्हें दान कर दिया था, इसलिए उन्हें शीश दानी भी कहा जाता है और तभी से उनकी पूजा खाटू श्याम के नाम से की जाने लगी.
इसके साथ आम जनमानस में ऐसी मान्यता भी है कि जो व्यक्ति अपने जीवन में हर तरह से हार चुका है, उसे श्याम बाबा का सहारा मिल जाता है, इसलिए उन्हें हारे का सहारा भी कहा जाता है. खाटू श्याम के दर्शन के लिए देश के कोने-कोने से लोग सीकर पहुंचते हैं, लेकिन खाटू श्याम के साथ-साथ कुछ ऐसी जगहें हैं जिनके दर्शन के बिना इस धार्मिक यात्रा को अधूरा माना जाता है. आइए जानते हैं इन प्रमुख स्थलों के बारे में... यह भी पढ़ें: Khatu Shyam Images: ‘हारे का सहारा बाबा श्याम हमारा’ प्रियजनों संग शेयर करें खाटू श्याम जी के ये मनमोहक HD Photos, Wallpapers और WhatsApp Stickers
खाटू श्याम मंदिर
खाटू श्याम मंदिर वह दिव्य स्थल है, जहां बाबा श्याम के पवित्र शीश की पूजा होती है और हर रोज लाखों श्रद्धालु इस दरबार में अपनी हाजिरी लगाने के लिए पहुंचते हैं. यह सिर्फ एक धार्मिक स्थल ही नहीं, बल्कि ऐसे असंख्य लोगों की उम्मीदों का केंद्र भी है, जो अपने जीवन के कठिन राह में किसी सहारे की तलाश में होते हैं.
श्याम कुंड
खाटू श्याम मंदिर परिसर में स्थित अंडाकार जलाशय को श्याम कुंड के नाम से जाना जाता है जो कि बेहद पवित्र है. मान्यता है कि इसी स्थान पर बर्बरीक ने श्रीकृष्ण को अपना शीश अर्पित किया था. इस कुंड का जल कभी समाप्त नहीं होता है, क्योंकि इसका स्रोत पाताल लोक से जुड़ा है. इसके साथ ही मान्यता है कि इस कुंड में स्नान करने से व्यक्ति को पुण्य की प्राप्ति होती है.
रींगस
हारे का सहारा बाबा श्याम के दर्शन की यात्रा रींगस से शुरु होती है, जो खाटू श्याम मंदिर से 17 किलोमीटर दूर है. यहां पर भक्त निशान की पूजा करते हैं और फिर पदयात्रा करते हुए बाबा श्याम को यह निशान अर्पित करते हैं, इसलिए यहां की यात्रा बेहद खास मानी जाती है.
तोरण द्वार
खाटू श्याम के दर्शन के लिए उनकी नगरी में जाने वाले भक्तों को सबसे पहले एक प्रवेश द्वार दिखाई देता है, जिसे तोरण द्वार कहा जाता है. यह वो स्थान है, जहां श्याम भक्त सबसे पहले माथा टेकते हैं और तब आगे बढ़ते हैं. यह जगह अब भक्तों के बीच एक सेल्फी पॉइंट बन गई है. यह भी पढ़ें: Khatu Shyam Baba in Dream: सपने में दिखें खाटू श्याम बाबा तो क्या समझे? जानें स्वप्न शास्त्र इसे शुभ मानता है या अशुभ!
श्याम बगीचा
श्याम बगीचा खाटू श्याम मंदिर के पास स्थित है, जहां पर उनके सबसे बड़े भक्त महंत आलू सिंह महाराज की समाधि है. कहा जाता है कि महंत आलू सिंह महाराज ने ही भक्ति और कीर्तन के जरिए बाबा की महिमा को दूर-दूर तक पहुंचाने का प्रयास किया था. इस बगीचे में गुलाब के फूलों की खेती होती है, जिससे बाबा का श्रृंगार किया जाता है.
खंडित शिवलिंग मंदिर
खाटू श्याम मंदिर के पास स्थित खंडित शिवलिंग के दर्शन करना इस यात्रा का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है. कहा जाता है कि औरंगजेब के सेनापति मूर्तजा खां ने जब इस शिवलिंग पर अपने भाले से हमला किया था तो उसमें से खून निकलने लगा था, जिसका प्रमाण आज भी देखने को मिलता है. अगर आप खाटू श्याम की अपनी यात्रा को पूरी करना चाहते हैं तो इस प्राचीन शिव मंदिर के दर्शन करना न भूलें.