नई दिल्ली: भारतीय रिजर्व बैंक (Reserve Bank of India) ने अनियमितता बरतने के आरोप में पंजाब एंड महाराष्ट्र सहकारी बैंक लिमिटेड (पीएमसी बैंक) पर छह महीनों का प्रतिबंध लगाया है. केंद्रीय बैंक ने पीएमसी बैंक (PMC Bank) के सभी लेनदेन पर नजर रखने के लिए विशेष दिशा-निर्देश जारी किए है. इसका असर खाताधारकों पर भी पड़ने वाला है. इसके तहत कोई भी जमाकर्ता अपने सेविंग अकाउंट, करंट अकाउंट या किसी भी अन्य जमा खाते से 1,000 हजार से अधिक पैसे नहीं निकाल सकता है.
सोमवार (23 सितंबर) को जारी अधिकारिक नोटीफिकेशन के मुताबिक पीएमसी बैंक को बैंकिंग से संबंधित लेनदेन करने से पहले रिजर्व बैंक (आरबीआई) से लिखित में मंजूरी लेनी पड़ेगी. यानि कि आरबीआई से बिना परमिशन कोई भी लोन मंजूर या आगे नहीं बढाया जा सकेगा. साथ ही बैंक अपनी मर्जी से कही निवेश भी नहीं कर सकती है. हालांकि कर्मचारियों की सैलरी देने जैसे बेहद जरुरी चीजों में छुट दी गई है.
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आरबीआई का यह दिशा-निर्देश अगले छह महीने के लिए लागू रहेगा. देश की सर्वोच्च बैंक ने साफ़ कहा है कि पीएमसी बैंक का लाइसेंस रद्द नहीं किया गया है. बैंक अगले निर्देश तक बैंकिंग व्यवसाय करना जारी रखेगा. आगे की परिस्थितियों के आधार पर आरबीआई फैसले लेगा. हालांकि बैंक प्रबंधन ने सभी जमाकर्ताओं को आश्वस्त किया है कि 6 महीने के अंदर सभी अनियमितताओं को सुधार लिया जाएगा. दिशा-निर्देश पढने के लिए यहां क्लिक करें.
रिपोर्ट्स के अनुसार पीएमसी बैंक भारत के टॉप-10 को-ऑपरेटिव बैंक की लिस्ट में शामिल है. मार्च 2019 के अंत तक पीएमसी बैंक में 11 हजार 500 करोड़ से ज्यादा की रकम जमा की गई. यह बैंक महाराष्ट्र, दिल्ली, कर्नाटक, गोवा, गुजरात, आंध्र प्रदेश और मध्य प्रदेश में परिचालन करता है. इसकी करीब 137 शाखाएँ हैं.