जयपुर: मुख्यमंत्री अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) लगातार रोडवेज (Rajasthan Roadways) को घाटे की स्थिति से उबारने की कोशिश में जुटे हैं. सीएम गहलोत ने गुरुवार को अपने निवास पर राजस्थान राज्य पथ परिवहन निगम तथा परिवहन विभाग की समीक्षा की. सीएम अशोक गहलोत ने कहा, "रोडवेज को घाटे की स्थिति से उबारने के लिए ऐसी योजना तैयार की जाए, जिससे यह आत्मनिर्भर हो सके और यात्रियों को वाजिब दरों पर सुगम परिवहन सेवा मिल सके. इसके लिए रोडवेज प्रबंधन छीजत कम करने, बसों में जीपीएस लगाने, ऑनलाइन टिकटिंग सहित अन्य तकनीकी नवाचारों को प्रोत्साहन दे."
समीक्षा के दौरान सीएम गहलोत ने कहा कि रोडवेज की खराब आर्थिक स्थिति के कारण सेवानिवृत्त कार्मिकों को अपने लाभों के लिए लंबे समय से इंतजार करना पड़ रहा है. उन्होंने कहा कि जल्द इन लोगों का बकाया भुगतान करने की योजना बनाई जाए.
रोडवेज को घाटे की स्थिति से उबारने के लिए ऐसी योजना तैयार की जाए, जिससे यह आत्मनिर्भर हो सके और यात्रियों को वाजिब दरों पर सुगम परिवहन सेवा मिल सके। इसके लिए रोडवेज प्रबंधन छीजत कम करने, बसों में जीपीएस लगाने, ऑनलाइन टिकटिंग सहित अन्य तकनीकी नवाचारों को प्रोत्साहन दे। pic.twitter.com/gO7zFgLCd8
— Ashok Gehlot (@ashokgehlot51) October 22, 2020
बैठक में रोडवेज के अध्यक्ष नवीन जैन ने रोडवेज की आर्थिक स्थिति, इसके सुदृढीकरण तथा यात्री सुविधाओं के विस्तार के लिए किए जा रहे प्रयासों पर विस्तृत प्रस्तुतीकरण दिया. परिवहन आयुक्त रवि जैन ने परिवहन विभाग की गतिविधियों की जानकारी दी.
सीएम ने कहा, रोडवेज की बसों में कोविड-19 को देखते हुए अनिवार्य रूप से मास्क लगाए जाने, सैनेटाइजिंग की उचित व्यवस्था एवं अन्य हेल्थ प्रोटोकॉल का पूरा ध्यान रखा जाए, इसमें किसी तरह की लापरवाही नहीं हो.
सीएम अशोक गहलोत ने कहा, "कोरोना संकट की विपरीत परिस्थिति में श्रमिकों, कोचिंग छात्रों एवं अन्य जरूरतमंदों को गंतव्य तक पहुंचाने में रोडवेज ने संवेदनशीलता से काम किया है. कोविड के कारण अस्थि विसर्जन के लिए निःशुल्क मोक्ष कलश स्पेशल बसों का संचालन जैसा मानवीय कदम सरकार ने उठाए है. यह सेवा अभी भी जारी है."