लखनऊ, 8 सितंबर: उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के कैबिनेट मंत्री और राज्य सरकार के प्रवक्ता सिद्धार्थनाथ सिंह ने सपा मुखिया अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) पर गंभीर आरोप लगाए हैं. कहा कि प्रदेश को बेचने के कगार पर पहुंचा दिया था. ऐसा कोई सगा नहीं, जिसे उन्होंने ठगा नहीं. चाहे उनके चाचा हों या कोई और. पार्टी के कार्यकर्ता और पदाधिकारी तक को सम्मान नहीं दिया. जिस कारण तमाम पुराने समाजवादियों ने एक-एक कर पार्टी से विदा ले लिया. सरकार के प्रवक्ता सिद्धार्थनाथ आज यहां पत्रकारों से बातचीत में यह बातें कहीं. यह भी पढ़े: Rajasthan: भाजपा के आंतरिक घमासान पर कांग्रेस नेताओं ने कसे तंज
उन्होंने कहा कि अखिलेश यादव ने प्रदेश की जनता के लिए अगर कुछ किया होता, तो आज उन्हें यह दिन नहीं देखने पड़ते. आज भी लोग सपा शासनकाल को याद कर कांप जाते हैं. ऐसा कोई विभाग नहीं था, जहां बिना घूस के कोई काम हो जाए. लूट, भ्रष्टाचार और गुंडाराज का आलम यह था कि लोग अपने घर में भी चैन से सो नहीं सकते थे. विकास के नाम पर सिर्फ चंद जिलों का विकास किया. प्रदेश का विकास करने के बजाय अपने परिवार और पार्टी का विकास किया. नाटक छोड़ कर उन्हें अपने गुनाहों के लिए जनता से माफी मांगनी चाहिए और तरक्की की राह पर चल रहे प्रदेश की सच्चाई को स्वीकार करना चाहिए. उन्होंने कहा कि जो चार-चार बार सरकार में रहने के बावजूद प्रदेश का कल्याण नहीं कर सका, उससे अब उम्मीद करना बेईमानी है.
जनता के सामने उनकी कलई खुल चुकी है. इसमें सपा, बसपा और कांग्रेस बराबर की दोषी हैं. तुष्टीकरण की राजनीति में इन दलों ने सभी सीमाएं पार कर दी थीं. उन्होंने कहा कि प्रदेश के इतिहास में पहली बार जनता खुद बदलाव को महसूस कर रही है. आज प्रदेश में ऐसा कोई सेक्टर या क्षेत्र नहीं जहां, सरकार की योजनाएं न पहुंची हों. बीमारू राज्य की श्रेणी से निकल कर उत्तर प्रदेश निवेश का हब बन चुका है. देश विदेश की कंपनियां निवेश कर रही हैं. युवाओं को रोजगार मिल रहा है. महिलाएं सुरक्षित महसूस कर रही हैं. किसानों के लिए सरकार ने खजाना खोल रखा है. स्वास्थ्य क्षेत्र में आमूल चूल परिवर्तन किया गया है. अब वह दिन दूर नहीं जब, प्रदेश के हर नागरिक का निशुल्क इलाज हो। यह सब किसी अन्य सरकार में संभव नहीं है.