उत्तर प्रदेश: लखनऊ विधानमंडल के शीतकालीन सत्र की हंगामेदार शुरुआत, CAA और राज्य में कानून-व्यवस्था को लेकर SP के नेताओं किया प्रदर्शन
लखनऊ विधानमंडल (Photo Credits: IANS)

उत्तर प्रदेश विधानमंडल के शीतकालीन सत्र की मंगलवार को हंगामेदार शुरुआत हुई. सत्र के पहले दिन नागरिकता संशोधन कानून (Citizenship Amendment Bill) और प्रदेश में कानून-व्यवस्था की स्थिति को लेकर समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) के नेताओं ने सदन के अंदर और बाहर प्रदर्शन किया. हंगामे को देखते हुए विधानसभा अध्यक्ष हृदय नारायण दीक्षित (Hriday Narayan Dikshit) ने सदन की कार्यवाही स्थगित कर दी. सपा नेताओं ने विधानमंडल भवन में चौधरी चरण सिंह की प्रतिमा के पास शर्ट उतारकर नागरिकता कानून का विरोध किया.

उन्होंने कहा कि यह कानून देश के संविधान के खिलाफ है और सरकार को इसे वापस लेना चाहिए. महिलाओं और कमजोर वर्ग के प्रति अपराधों में बेतहाशा वृद्घि, महंगाई, कानून-व्यवस्था, किसानों की समस्याओं के अलावा सीएए का मुद्दा उठाते हुए सपा विधायकों ने सदन के बाहर और भीतर जमकर हंगामा किया.

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विपक्ष के हंगामे के कारण विधान परिषद की कार्यवाही 15 मिनट के लिए स्थगित करनी पड़ी. कार्यवाही दोबारा शुरू होने पर सपा सदस्यों ने फिर सीएए, कानून-व्यवस्था, महिलाओं के खिलाफ अपराध जैसे मुद्दों पर नारेबाजी शुरू कर दी. अधिष्ठाता ओम प्रकाश शर्मा को सदन की कार्यवाही अपराह्न् 12.20 बजे तक स्थगित करनी पड़ी. इस दौरान सदन में बसपा और कांग्रेस के विधायकों ने भी सरकार का विरोध किया, लेकिन शांतिपूर्ण तरीके से. विरोध करते हुए वे न वेल में गए और न धरना दिया.

इस दौरान सपा विधायकों ने हाथों में तख्ती ले रखीं थी. सपा विधायक 'संविधान बचाओ, देश बचाओ' के नारे लगा रहे थे. विधानमंडल का शीतकालीन सत्र मंगलवार को शुरू हुआ, जो 20 दिसंबर तक चलेगा. इस दौरान अनुपूरक बजट पेश किया जाएगा. यह मौजूदा वित्त वर्ष का दूसरा अनुपूरक बजट होगा.