
World Environment Day 2025: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने विश्व पर्यावरण दिवस 2025 के मौके पर एक खास पौधा अपने आवास पर लगाया. ये कोई साधारण पौधा नहीं था, बल्कि ‘सिंदूर का पौधा’ था, जो उन्हें हाल ही में गुजरात के कच्छ इलाके की बहादुर महिलाओं ने भेंट किया था. ये वही महिलाएं हैं जिन्होंने 1971 के भारत-पाक युद्ध के दौरान बहादुरी और देशभक्ति की मिसाल पेश की थी.
प्रधानमंत्री ने एक्स (X) पर एक पोस्ट में बताया कि उन्हें इस पौधे को नई दिल्ली स्थित प्रधानमंत्री आवास में लगाने का सौभाग्य मिला. उन्होंने इस मौके को नारीशक्ति के सम्मान और प्रेरणा से जोड़ा. पीएम मोदी ने लिखा कि ये पौधा हमारे देश की महिलाओं के साहस, पराक्रम और प्रेरणा का प्रतीक बना रहेगा.
#Watch | विश्व पर्यावरण दिवस पर एक विशेष क्षण 🌿
प्रधानमंत्री श्री @narendramodi ने आज अपने आवास 7, लोक कल्याण मार्ग, दिल्ली में 'सिंदूर' का पौधा रोपित किया।
यह पौधा उन्हें हाल ही में कच्छ यात्रा के दौरान 1971 के युद्ध में अद्वितीय साहस दिखाने वाली वीरांगनाओं द्वारा भेंट स्वरूप… pic.twitter.com/Pj2On3yhAi
— डीडी न्यूज़ (@DDNewsHindi) June 5, 2025
यह कदम एक तरफ जहां पर्यावरण संरक्षण के लिए प्रेरणा देता है, वहीं दूसरी तरफ देश की वीरांगनाओं के योगदान को याद करने और सम्मान देने की दिशा में एक मजबूत संदेश भी देता है.
1971 के युद्ध में साहस और पराक्रम की अद्भुत मिसाल पेश करने वाली कच्छ की वीरांगना माताओं-बहनों ने हाल ही में गुजरात के दौरे पर मुझे सिंदूर का पौधा भेंट किया था। विश्व पर्यावरण दिवस पर आज मुझे उस पौधे को नई दिल्ली के प्रधानमंत्री आवास में लगाने का सौभाग्य मिला है। यह पौधा हमारे देश… pic.twitter.com/GsHCCNBUVp
— Narendra Modi (@narendramodi) June 5, 2025
ऑपरेशन सिंदूर
ऑपरेशन सिंदूर भारतीय सशस्त्र बलों द्वारा 6-7 मई 2025 की रात को शुरू किया गया एक सैन्य हवाई अभियान था, जिसका उद्देश्य पाकिस्तान और पाकिस्तान-अधिकृत कश्मीर (PoK) में आतंकवादी ठिकानों को नष्ट करना था. यह कार्रवाई 22 अप्रैल 2025 को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के जवाब में की गई, जिसमें 26 नागरिक, जिनमें 25 भारतीय और एक नेपाली, मारे गए थे. हमले की जिम्मेदारी 'प्रतिरोध मोर्चा' नामक आतंकी संगठन ने ली थी, और भारत ने इसे पाकिस्तान समर्थित आतंकवाद से जोड़ा. ऑपरेशन में नौ आतंकी ठिकानों को निशाना बनाया गया, जिनमें लश्कर-ए-तैयबा, जैश-ए-मोहम्मद और हिजबुल मुजाहिदीन जैसे संगठनों के शिविर शामिल थे.
नामकरण और प्रतीकात्मक महत्व
ऑपरेशन का नाम 'सिंदूर' पहलगाम हमले में मारे गए लोगों, विशेषकर उन महिलाओं के प्रति श्रद्धांजलि के रूप में चुना गया, जिनके पतियों की हत्या के कारण उनका सिंदूर उजड़ गया. यह नाम पीएम मोदी के सुझाव पर रखा गया, जो आतंकवाद के खिलाफ भारत की कठोर नीति और नारी शक्ति के सम्मान को दर्शाता है. यह कार्रवाई न केवल सैन्य जवाब थी, बल्कि यह भारत के नागरिकों की सुरक्षा और आतंकवाद के खिलाफ जीरो टॉलरेंस नीति का प्रतीक भी थी. ऑपरेशन ने अंतरराष्ट्रीय मंच पर भारत की रणनीतिक और कूटनीतिक ताकत को भी प्रदर्शित किया.
प्रभाव और अंतरराष्ट्रीय प्रतिक्रिया
ऑपरेशन सिंदूर ने पाकिस्तान के आतंकी ढांचे को गंभीर नुकसान पहुंचाया, जिसमें 80-100 आतंकवादी मारे गए और कई ठिकाने पूरी तरह नष्ट हो गए. पाकिस्तान ने दावा किया कि हमलों में नागरिक हताहत हुए, लेकिन भारत ने इसे खारिज करते हुए कहा कि केवल आतंकी ठिकाने निशाना बने. इस कार्रवाई ने पाकिस्तान की सैन्य कमजोरियों, विशेषकर उसकी चीनी हथियारों पर निर्भरता को उजागर किया. भारत ने अमेरिका, ब्रिटेन, रूस जैसे देशों को ऑपरेशन की जानकारी दी, और इसे संयुक्त राष्ट्र के आतंकवाद विरोधी सिद्धांतों के अनुरूप बताया. ऑपरेशन ने भारत-पाकिस्तान तनाव को बढ़ाया, लेकिन भारत ने DGMO स्तर पर बातचीत की शर्त रखकर कूटनीतिक संयम भी दिखाया.