मुंबई: महाराष्ट्र सरकार के 2019 के कैलेंडर में दलित नेता बीआर आंबेडकर (B. R. Ambedkar) और 19वीं सदी के सामाजिक सुधारक महात्मा ज्योतिबा फुले (Jyotirao Phule) की पुण्यतिथियों का जिक्र नहीं है. घटनाक्रम के सामने आने के बाद, शनिवार को राकांपा (NCP) ने मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़णवीस (Devendra Fadnavis) से माफी की मांग की तो कांग्रेस (Congress) ने उनसे ‘जबर्दस्त गलती’ की नैतिक जिम्मेदारी लेने को कहा.
सूचना और जनसंपर्क महानिदेशालय (डीजीआईपीआर) द्वारा प्रकाशित कैलेंडर में 28 नवंबर को पड़ने वाली फुले की पुण्यतिथि तथा छह दिसंबर को पड़ने वाली आंबेडकर की पुण्यतिथि का जिक्र नहीं है. इसबीच, डीजीआईपीआर ने एक बयान में शनिवार को कहा कि 2013 में लिए गए निर्णय के अनुसार, सरकारी स्तर पर केवल जयंतियां ही मनाई जाती हैं.
इसलिए सरकारी कैलेंडर में सिर्फ जयंतियों का जिक्र है न कि पुण्यतिथियों का. बयान में कहा गया है कि कैलेंडर में बाबा साहेब भीम राव आंबेडकर और महात्मा फुले की जयंतियों का जिक्र है. इस बीच, राकांपा प्रदेश अध्यक्ष जयंत पाटिल ने दावा किया कि कैलेंडर में महावीर जयंती और बुद्ध पूर्णिमा की तारीखें तक गलत हैं.
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उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार महान विभूतियों के नामों का इस्तेमाल कर चुनाव जीतना चाहती हैं लेकिन वह यह भी सुनिश्चित करना चाहती है कि उनकी यादें लोगों के ज़ेहन से मिट जाए.