तिरुवनंतपुरम, 12 जून : वायनाड जिले (Wayanad District) के जंगलों से सदियों पुराने शीशम के पेड़ों की लकड़ी माफिया द्वारा अवैध कटाई और उसकी तस्करी को लेकर उपजे विवाद के बीच केरल सरकार (Kerala Government) ने इस मामले तथा ऐसे अन्य प्रकरणों की जांच के लिए विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन किया है. मुख्य सचिव वी. पी. जॉय द्वारा जारी आदेश के अनुसार, अपराध शाखा के एडीजीपी एस. श्रीजित को इस उच्चस्तरीय जांच के समन्वय का काम सौंपा गया है. इस टीम में वन एवं वन्य जीव विभाग, सतर्कता विभाग, भ्रष्टाचार निरोधी ब्यूरो और अपराध शाखा के अधिकारी शामिल होंगे. मुख्य सचिव ने आदेश में कहा है, राज्य पुलिस की रिपोर्ट के अनुसार, प्रदेश में कुछ जगहों पर कुछ लोगों ने शीशम के पेड़ों जैसे अमूल्य प्राकृतिक संसाधनों और संपत्तियों की कटाई कर उनकी चोरी की है.
उन्होंने कहा, ‘‘संदेह है कि यह कुछ लोगों की साजिश का नतीजा है और इन कथित घटनाओं की सच्चाई पता लगाने के लिए विस्तृत जांच की जरूरत है.’’ शीर्ष अधिकारी ने बताया कि ‘‘अपराध की गंभीरता, प्रभाव और विस्तार’’ को ध्यान में रखते हुए विशेष जांच दल का गठन किया गया है. उन्होंने संबंधित विभागों के प्रमुखों को निर्देश दिया कि वे एसआईटी के लिए कुशल और अच्छे ट्रैक रिकॉर्ड वाले अधिकारियों को नामित करें और जांच को समय से पूरा करें. यह भी पढ़ें : रेमडेसिविर पर घटेगी GST दर, ब्लैक फंगस की दवा पर नहीं लगेगा टैक्स
विपक्षी दलों भाजपा और कांग्रेस द्वारा शीशम के पेड़ों की अवैध कटाई और तस्करी को लेकर वामपंथी सरकार की लगातार आलोचना और केन्द्र सरकार द्वारा इसपर रिपोर्ट मांगे जाने के बाद राज्य सरकार ने जांच की घोषणा की है. विपक्षी कांग्रेस नीत यूडीएफ ने इस मुद्दे को केरल विधानसभा में उठाया और राज्य सरकार पर आरोपियों को बचाने का आरोप लगाया.