आर्मी चीफ जनरल बिपिन रावत (Bipin Rawat) ने चीनी सेना द्वारा भारतीय सीमा में घुसपैठ की खबरों का खंडन किया. जनरल रावत का यह बयान इन रिपोर्टों के बीच आया है कि चीनी जवानों ने छह जुलाई को दलाई लामा के जन्मदिवस के मौके पर कुछ तिब्बतियों द्वारा तिब्बती झंडे फहराए जाने के बाद पिछले सप्ताह वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पार की. सैन्य प्रमुख ने कहा, 'चीनी अपनी मानी जाने वाली वास्तविक नियंत्रण रेखा पर आते हैं और गश्त करते हैं... हम उन्हें रोकते हैं. कई बार स्थानीय स्तर पर जश्न समारोह होते हैं.
आर्मी चीफ ने कहा डेमचोक सेक्टर में हमारी ओर तिब्बती जश्न मना रहे थे. इसके आधार पर, कुछ चीनी यह देखने आए कि क्या हो रहा है, लेकिन कोई घुसपैठ नहीं हुई. सब सामान्य है.' जनरल रावत ने कहा एलएसी को लेकर चीन और हमारी अपनी-अपनी धारणाएं हैं. इनमें अंतर है. इसलिए दोनों तरफ की पेट्रोलिंग पार्टी एक-दूसरे की तरफ रुख करती रहती हैं.
Army Chief Gen Bipin Rawat on 'Chinese troop movements in Demchok': There has been no intrusion. Chinese come & patrol their perceived line of actual control, which we try & prevent them. We try & attempt to reach out to our line of actual control which has been given to us. pic.twitter.com/9ATFHCQzhK
— ANI (@ANI) July 13, 2019
हर दुस्साहस से कड़े तौर पर निपटा जाएगा
इस दौरान बिपिन रावत ने पाकिस्तान सेना पर भी सवाल उठाए. जनरल बिपिन रावत ने कहा कि पाकिस्तान भारत के खिलाफ बार बार हिमाकत करता है. पाकिस्तान ने भारत के खिलाफ छद्म युद्ध छेड़ रखा है. उन्होंने कहा कि भारतीय सेना पाकिस्तान प्रायोजित आतंकवाद और घुसपैठ का जवाब देने में सक्षम है. भारतीय सेना अपनी सीमा की रक्षा करने में सक्षम है. इसमें कोई संदेह नहीं होना चाहिए कि भारत के खिलाफ किसी भी दुस्साहस से कड़े तौर पर निपटा जाएगा.
Army Chief: Pakistan army time and again resorts to misadventure either through flawed proxy wars and state sponsored terror or intrusions. Indian Army stands resolute to defend our territory.Let there be no doubt that any misadventure will be repelled with a punitive response https://t.co/WHPcNls3vV
— ANI (@ANI) July 13, 2019
Army Chief General Bipin Rawat: Battlefield will be severely contested and seamlessly connected. In future even conventional conflicts are likely to have a large asymmetric component leading to now what is being termed 'hybrid war'. Technology has become key driver of future wars https://t.co/JbJ5QmtfX1
— ANI (@ANI) July 13, 2019
जनरल रावत ने 'कारगिल युद्ध के 20 साल बाद' पर हुए एक सेमिनार में ये बात कही. उन्होंने कहा कि तमाम कठिनाइयों और विपरीत हालातों के भारत ने शानदार जीत हासिल की थी. बहादुर सेना और राष्ट्र को इस पर गर्व है.
बिपिन रावत ने आगे कहा कि भविष्य में होने वाले युद्ध और अधिक हिंसक हो जाएंगे जहां मानव कारक का महत्व कम रह जाएगा. हमारे सैनिक हमारी प्राथमिक संपत्ति हैं और रहेंगे. आर्मी चीफ ने कहा कि भविष्य में होने वाले युद्ध तकनीकी युद्ध होंगे जिनसे व्यापक स्तर पर तबाही हो सकती है.