नई दिल्ली: पाकिस्तान (Pakistan) से सटे पंजाब (Punjab) में घुसपैठ (Infiltration) और नशे की तस्करी को रोकने के लिए सीमा पर नई फेंसिंग तकनीक (New Fencing Technology) का इस्तेमाल किया जा रहा है. इस नई तकनीक की शुरुआत पायलट प्रोजेक्ट के तहत पंजाब में अंतरराष्ट्रीय सीमा पर कई जगहों पर की गई है. जबकि भारत व बांग्लादेश (Bangladesh) सीमा पर घुसपैठ के मामलों में भी कमी आई है. गुलाम नबी आजाद बोले- उन खुशकिस्मत लोगों में से हूं जो पाकिस्तान नहीं गए, मैं हिंदुस्तानी मुसलमान हूं
बुधवार को राज्यसभा में एक सवाल के लिखित जवाब में गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय (Nityanand Rai) ने कहा कि पंजाब में भारत-पाकिस्तान सीमा पर नए डिजाइन के मॉड्यूलर बाड़ लगाने का पायलट प्रोजेक्ट मार्च 2020 में पूरा हो गया. इसी बीच उन्होंने बताया कि नागरिकता संशोधन अधिनियम (Citizenship Amendment Act) के तहत नियम तैयार किए जा रहे हैं.
The Rules under The Citizenship Amendment Act are under preparation. The Committee on Subordinate Legislation, Lok Sabha and Rajya Sabha have granted an extension up to 9th April 2021 and 9th July 20201 respectively: MoS Home
Nityananda Rai in a written reply in Rajya Sabha
— ANI (@ANI) February 10, 2021
Pilot project for new design modular fencing on Indo-Pak border in Punjab has been completed in March 2020: MoS Home Nityanand Rai in a written reply in Rajya Sabha
(file pic) pic.twitter.com/j3UHfmDQge
— ANI (@ANI) February 10, 2021
इसके साथ ही नित्यानंद राय ने लिखित जवाब में बताया की भारत में घुसपैठ के मामलों की जाँच की गई. 2016 में भारत-बांग्लादेश सीमा के साथ सीमा पार से घुसपैठ के मामलों की संख्या 2016 में घट गई. 2016 में 656 मामले थे, जिसमें 1,601 लोग थे. 2017 में 456 मामले और 907 गिरफ्तार किए गये थे. 2018 में 420 मामले और 884 लोग गिरफ्तार हुए. 2019 में 500 मामले और 1,109 गिरफ्तार किए गए. जबकि 2020 में 489 मामले और 955 गिरफ्तार किए गए.