मलयालम संगीतकार एमके अर्जुनन का 84 साल की उम्र में हुआ निधन, एआर रहमान से था खास रिश्ता

मशहूर संगीतकार एआर रहमान भी जब महज 11 साल के थे तो उनकी काबिलियत को पहचानते हुए एमके अर्जुन ने उन्हें अपने ऑर्केस्ट्रा में कीबोर्ड बजाने का मौका दिया.

एमके अर्जुन (Image Credit: Twitter)

मशहूर मलयालम संगीतकार एमके अर्जुनन (M.K. Arjunan) का सोमवार यानी 6 मार्च की सुबह कोची में निधन हो गया. वो 84 साल के थे. एमके अर्जुन मलयालम सिनेमा के गोल्डन दौर के संगीतकारों में से एक थे. अपने 5 दशक के लंबे करियर में उन्होंने 700 के लगभग गानों को संगीत दिया था. जिसमें से कई गानें आल टाइम हिट हुए. वो मशहूर संगीतकार जी देवराजन के शिष्य रहें. कहा जाता है कि एमके अर्जुनन के ज्यादातर गानों पर देवराजन का प्रभाव होता था. हालांकि उन्होंने कभी उनकी किसी ट्यून को कॉपी नहीं किया.

एमके अर्जुनन ना केवल अच्छे संगीतकार थे बल्कि उन्हें नई प्रतिभा को पहचानने का हुनर भी बखूबी था. मशहूर संगीतकार एआर रहमान भी जब महज 11 साल के थे तो उनकी काबिलियत को पहचानते हुए एमके अर्जुनन ने उन्हें अपने ऑर्केस्ट्रा में की-बोर्ड बजाने का मौका दिया.

साल 1968 में एक संगीतकार के रूप में उन्होंने फिल्म 'करुथापूर्णमनी' से अपने संगीत करियर की शुरुआत की थी. उन्होंने ड्रामा के लिए कंपोजिंग के अलावा 200 फिल्मों में 500 से अधिक गीतों पर काम किया. उन्होंने प्रमुख गीतकार श्रीकुमारन थम्पी के साथ करीब 50 फिल्मों में काम किया. आश्चर्यजनक बात तो यह है कि इस महान संगीत निर्देशक को एकमात्र केरल राज्य फिल्म पुरस्कार से ही नवाजा गया. उनके निधन पर मुख्यमंत्री पिनराई विजयन ने कहा कि महान संगीतकार का निधन न सिर्फ संगीत उद्योग के लिए बल्कि समाज के लिए भी बहुत बड़ा नुकसान है. उनका अंतिम संस्कार कोच्चि में होगा.

 

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