तेहट्टा (पश्चिम बंगाल), 16 अप्रैल केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने शुक्रवार को पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर दलित मतुआ व नामशूद्र समुदाय के लोगों को नागरिकता देने से इनकार करने का आरोप लगाया क्योंकि उनके “वोटबैंक को यह पसंद नहीं आता”।
कई सीटों पर विधानसभा चुनाव के नतीजों को प्रभावित करने की क्षमता रखने वाले इन दोनों समुदायों को साधने के प्रयास के तहत शाह ने कहा कि राज्य में अगर भाजपा सत्ता में आई तो इन दोनों समुदायों के कल्याण के लिये 100 करोड़ रुपये का एक कोष बनाया जाएगा।
उन्होंने कांग्रेस नेता राहुल गांधी का मजाक उड़ाते हुए उन्हें ‘‘पर्यटक नेता’’ करार दिया।
उन्होंने नादिया जिले के तेहट्टा में एक चुनावी रैली के दौरान लोगों को संबोधित करते हुए कहा, “यह मतुआ और नामशूद्र परिवार यहां 50-70 सालों से रह रहे हैं, तीन पीढ़ियों से। लेकिन दीदी कहती हैं कि उन्हें नागरिकता नहीं मिलेगी, क्यों? क्योंकि उनके वोट बैंक को यह पसंद नहीं आएगा।”
राज्य में बुधवार को पहली दो चुनावी रैलियों को संबोधित करने वाले राहुल गांधी पर निशाना साधते हुए शाह ने उन्हें “पर्यटक नेता” बताया।
कांग्रेस यहां वाम दलों के साथ गठबंधन में चुनाव लड़ रही है जबकि केरल में उनकी पार्टी वाम दलों के खिलाफ चुनाव लड़ रही है।
शाह ने कहा, “लगभग पूरा चुनाव खत्म होने के बाद बंगाल में एक पर्यटक नेता आए हैं और हमारे डीएनए पर सवाल उठा रहे हैं। भाजपा का डीएनए विकास, राष्ट्रवाद और आत्मनिर्भर भारत है।”
तृणमूल कांग्रेस में “वंशवाद की राजनीति” पर निशाना साधते हुए शाह ने कहा कि भाजपा बंगाल में किसानों के लिये प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना लागू करना चाहती है, “दीदी सिर्फ भाइपो (भतीजा) सम्मान निधि चाहती हैं।”
भाजपा नेता बनर्जी के भतीजे और डायमंड हार्बर लोकसभा सीट से सांसद अभिषेक बनर्जी पर सरकारी तंत्र पर “अनावश्यक प्रभाव” डालने और “वसूली सिंडिकेट” चलाने को लेकर आरोप लगाते रहे हैं।
केंद्रीय गृह मंत्री शाह ने कहा, “दो मई (मतगणना का दिन) को जनादेश आने के बाद, कट मनी लेने के लिये कोई नहीं बचेगा और सिंडिकेट की सरकार यहां नहीं रहेगी, भाइपो के लिये काम करने वाली सरकार चली जाएगी।”
शाह ने टीएमसी सरकार पर “घुसपैठियों को रोकने में नाकाम रहने का आरोप लगाया जिन्होंने युवाओं की नौकरी और गरीबों के खाने पर कब्जा कर लिया।”
उन्होंने कहा, “अवैध आव्रजकों को छोड़िए, सीमा पार से एक परिंदे को भी बंगाल की सीमा में प्रवेश की इजाजत नहीं होगी। न तो टीएमसी, न वामदल और न ही कांग्रेस...सिर्फ भाजपा घुसपैठ रोक सकती है।”
उन्होंने दावा किया कि बांग्लादेश की सीमा से लगने वाले नादिया जिले की जनसांख्यिकी घुसपैठ के कारण बदल गयी है।
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