प्रधानमंत्री वित्त व कॉर्पोरेट कार्य मंत्रालयों के ‘अनुप्रतीकात्मक सप्ताह’ समारोह का उद्घाटन करेंगे
पीएम मोदी (Photo Credits PIB)

नयी दिल्ली, 5 जून : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) छह जून को वित्त मंत्रालय और कॉर्पोरेट कार्य मंत्रालय के ‘अनुप्रतीकात्मक सप्ताह’ (आइकानिक वीक) समारोह का उद्घाटन करेंगे. प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) ने रविवार को एक आधिकारिक बयान में यह जानकारी दी. पीएमओ के मुताबिक, वित्त और कॉर्पोरेट कार्य मंत्रालय छह से 11 जून तक ‘आजादी का अमृत महोत्सव’ के तहत ‘अनुप्रतीकात्मक सप्ताह’ समारोह आयोजित कर रहा है. आजादी का अमृत महोत्सव के ‘अनुप्रतीकात्मक सप्ताह’ के दौरान, कॉर्पोरेट कार्य मंत्रालय और वित्त मंत्रालय का प्रत्येक विभाग अपने समृद्ध इतिहास और विरासत के साथ-साथ आने वाली चुनौतियों का सामना करने के लिए तत्परता का प्रदर्शन करेगा.

उदाहरण के लिए, तीसरे दिन यानी आठ जून 2022 को भारत में प्रतिभूति बाजार के विकास पर एक वृत्तचित्र जारी किया जाएगा और अंतिम दिन, 11 जून 2022 को, राष्ट्रीय सीमा शुल्क और जीएसटी संग्रहालय, ‘धरोहर’, जो जब्त किए गए सामान, प्राचीन वस्तुओं और सीमा शुल्क विरासत की एक श्रृंखला को प्रदर्शित करता है, राष्ट्र को समर्पित किया जाएगा. इस अवसर पर प्रधानमंत्री क्रेडिट-लिंक्ड सरकारी योजनाओं के लिए जन समर्थ पोर्टल शुरू करेंगे. यह पोर्टल अलग-अलग योजनाओं को एक ही मंच पर उपलब्ध कराएगा. पीएमओ के मुताबिक, यह अपने आप में पहला ऐसा पोर्टल होगा जो लाभार्थियों को ऋणदाताओं से जोड़ेगा. जन समर्थ पोर्टल का मुख्य उद्देश्य सभी योजनाओं को एक मंच पर लाकर उसका लाभ नागरिकों को देकर सभी योजनाओं की पहुंच को डिजिटल माध्यमों से और आसान व सरल बनाना है. यह पोर्टल सभी लिंक्ड योजनाओं की कवरेज सुनिश्चित करता है. यह भी पढ़ें :तमिलनाडु के स्वास्थ्य विभाग ने राज्य को कोविड-19 मामलों में वृद्धि को लेकर किया सतर्क

पीएमओ ने कहा कि मोदी एक डिजिटल प्रदर्शनी का भी उद्घाटन करेंगे. इस प्रदर्शनी के माध्यम से कॉर्पोरेट कार्य मंत्रालय और वित्त मंत्रालय की पिछले आठ साल की यात्रा की झलक होगी. प्रधानमंत्री एक, दो, पांच, 10 और 20 रुपयों के सिक्कों की नयी श्रृंखला भी जारी करेंगे. सिक्कों की इस श्रृंखला विषय ‘आजादी का अमृत महोत्सव’ का लोगो होगा और इसे दृष्टिबाधित लोग भी आसानी से पहचान सकेंगे. यह समारोह भारत की आजादी के 75 साल पूरे होने की भावना को ध्यान में रखते हुए पूरे भारत के 75 शहरों में एक साथ मनाया जाएगा.