नयी दिल्ली, आठ फरवरी कांग्रेस, तृणमूल कांग्रेस, द्रमुक सहित विपक्षी दलों ने सोमवार को लोकसभा में सरकार पर ‘बहुमत के बाहुबल’ के जरिये किसानों, कृषि सहित अन्य मुद्दों पर अपनी बात थोपने का आरोप लगाया, जबकि सरकार से किसानों से बातचीत करके विवादित कृषि कानूनों से जुड़े मामले का समाधान निकालने की अपील की।
वहीं भाजपा ने जोर देकर कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उनकी सरकार संसद के माध्यम से नए भारत की नींव रख रहे हैं।
सत्तारूढ़ पार्टी ने कहा कि मोदी सरकार ने अनुच्छेद 370 को समाप्त करने, नोटबंदी लागू करने, जीएसटी लागू करने, तीन तलाक कहकर संबंध तोड़ने की कुप्रथा को समाप्त करने जैसे बड़े कदम उठाये हैं, वहीं कोरोना वायरस महामारी के दौर में भी बहुत काम किया है।
राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर सदन में चर्चा में हिस्सा लेते हुए लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने आरोप लगाया, ‘‘आप एक तरफ मुसलमान और दूसरी तरफ किसान के खिलाफ जंग छेड़े हुए हैं।’’
उन्होंने सवाल किया, ‘‘ संसद से कुछ किलोमीटर की दूरी पर हजारों किसान दो महीने से बैठे हैं। 200 से ज्यादा किसानों की जान चली गई। प्रधानमंत्री को किसानों के साथ बातचीत करने की फुर्सत नहीं है क्या? इतना अहंकार क्यों है?’’
किसानों की स्थिति को दयनीय बताते हुए उन्होंने सरकार से कहा, ‘‘ आप बहुमत का बाहुबल बंद करिए।’’
चौधरी ने सरकार पर किसानों के खिलाफ जंग छेड़ने का आरोप लगाया, साथ ही बालाकोट एयर स्ट्राइक से पहले कथित तौर पर जानकारी लीक होने और गणतंत्र दिवस पर कुछ उपद्रवी तत्वों के लाल किले में घुसने एवं धार्मिक ध्वज लगाने से जुड़े घटनाक्रम की संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) से जांच कराने की मांग की ।
वहीं, भाजपा सांसद लॉकेट चटर्जी ने लोकसभा में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव रखते हुए विभिन्न क्षेत्रों में मोदी सरकार के कार्यों एवं उपलब्धियों तथा केंद्रीय योजनाओं को गिनाया, वहीं अपने गृह राज्य पश्चिम बंगाल की सरकार को आड़े हाथ लेते हुए उस पर केंद्रीय योजनाओं को राज्य के नागरिकों तक नहीं पहुंचाने का आरोप भी लगाया।
चटर्जी ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी और उनकी सरकार इस सदन के माध्यम से नए भारत की नींव रख रहे हैं।
भाजपा सांसद ने राज्य में तृणमूल कांग्रेस पार्टी की शह पर भाजपा कार्यकर्ताओं की कथित तौर पर हत्या किये जाने, खास वर्ग का तुष्टीकरण करने, 30 प्रतिशत वोटों की राजनीति करने और भगवान राम-सीता का अपमान करने का सोमवार को आरोप लगाया और कहा कि 2021 के विधानसभा चुनाव में राज्य की जनता इसका जवाब देगी।
भाजपा के ही सांसद वीरेंद्र कुमार ने कहा कि कोरोना की वैश्विक महामारी के संकट से निपटने में सरकार, वैज्ञानिकों और स्वास्थ्यकर्मियों ने मुख्य भूमिका निभाई। देश के लोगों ने भी इस संकट का मजबूती से मुकाबला किया।
उन्होंने कहा कि इस महामारी के बाद स्वास्थ्य सुविधओं में इजाफा हुआ तथा पीपीई किट, मास्क और दूसरे चिकित्सा उपकरणों के विनिर्माण में तेजी आई।
कुमार ने कहा कि कांग्रेस के एक नेता की अध्यक्षता वाली गृह मामलों की संसदीय स्थायी समिति ने कोरोना वायरस की रोकथाम के लिए केंद्र सरकार के प्रयासों की सराहना की है। इसी तरह स्वास्थ्य संबंधी समिति ने भी सरकार के प्रयासों की तारीफ की है। सरकार ने कई दूसरे देशों की भी मदद की। कोरोना वायरस के टीके की कई देशों को आपूर्ति की जा रही है।
उन्होंने कहा कि सरकार ने कई सामाजिक योजनाओं के माध्यम से देश के गरीबों की मदद की गयी। श्रम सुधारों का कदम उठाकर मजदूरों के हितों की रक्षा की।
चर्चा में हिस्सा लेते हुए तृणमूल कांग्रेस सांसद महुआ मोइत्रा ने सरकार पर ‘कायरता को साहस के रूप में परिभाषित’ करने का आरोप लगाते हुए सोमवार को कहा कि नागरिकता संशोधन कानून लाना, अर्थव्यवस्था की स्थिति, बहुमत के बल पर तीन कृषि कानून लाना इसके उदाहरण हैं।
राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा के दौरान महुआ मोइत्रा ने उच्चतम न्यायालय के एक पूर्व प्रधान न्यायाधीश को लेकर एक टिप्पणी की। इसका भाजपा सदस्यों और सरकार की ओर से जोरदार विरोध किया गया।
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