चित्रदुर्ग (कर्नाटक), पांच सितंबर चित्रदुर्ग की एक अदालत ने नाबालिग लड़कियों के यौन शोषण के आरोपी मुरुग मठ के महंत शिवमूर्ति मुरुग शरणारू को सोमवार को 14 सितंबर तक की न्यायिक हिरासत में भेजने का आदेश दिया।
उन्हें नौ दिन की न्यायिक हिरासत में भेजा गया है। वह दो सितंबर से पुलिस हिरासत में थे और पुलिस ने उनकी हिरासत बढ़ाने की मांग नहीं की। इसके बाद दूसरी अतिरिक्त जिला और सत्र अदालत ने उन्हें न्यायिक हिरासत में भेज दिया। उन्हें अदालत में सुनवाई के बाद चित्रदुर्ग जिला कारागार ले जाया गया।
मुरुग मठ के महंत को एक सितंबर की रात को गिरफ्तार किया गया था और न्यायाधीश के आवास पर उनके सामने पेश किया गया था। न्यायाधीश ने उन्हें न्यायिक हिरासत में भेज दिया था।
महंत को दो सितंबर की सुबह अदालत में पेश किया गया, जिसने उन्हें पुलिस हिरासत में भेज दिया।
मैसुरू शहर पुलिस ने कथित यौन शोषण के लिए शिवमूर्ति के खिलाफ यौन अपराध से बच्चों का संरक्षण (पॉक्सो) कानून तथा भारतीय दंड संहिता की धाराओं में एक प्राथमिकी दर्ज की थी।
प्राथमिकी जिला बाल संरक्षण इकाई के एक अधिकारी की शिकायत पर मठ के छात्रावास वार्डन समेत पांच लोगों के खिलाफ दर्ज की गयी। पुलिस ने बृहस्पतिवार को वार्डन से भी पूछताछ की।
गौरतलब है कि दो लड़कियों ने मैसुरू में एक गैर-सरकारी संगठन से संपर्क कर उन्हें कथित यौन शोषण की जानकारी दी थी, जिसके बाद संगठन ने प्राधिकारियों से संपर्क किया और पुलिस ने मामला दर्ज किया। इस मामले को चित्रदुर्ग पुलिस को सौंप दिया गया, क्योंकि कथित अपराध वहीं हुआ था।
महंत पर अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति (अत्याचार रोकथाम) कानून के तहत भी मामला दर्ज किया गया है, क्योंकि एक पीड़िता अनुसूचित जाति से ताल्लुक रखती है।
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